सवाल ढूॅंढता फिर रहा हूँ मैं,
जवाब सारे मिल गए हैं मुझे।
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कोरा कागज़ भेज रहा हूँ लिफ़ाफे में,
बात करने को अब कुछ रहा ही नहीं है।-
इक रोज़ आएंगे वो अपनी तमाम फ़ुरसतें लेकर,
उस रोज़ कहेंगे हम "अब दरकार नहीं है "।-
हमारे दरम्यान कोई वादे नहीं थे तो क्या,
मैंने ख़ुद से तो वादा किया था ना के
"चाहे जो हो, मैं हूँ सदा"।-
तुम अब ठीक हो ना,
मुझे खामोश कर के अपने अंदर का शोर तो कम कर पाए हो ना !!-
मुझे इश्क़ तेरे ख्याल भर से है,
तेरे ना होने से भी मेरा इश्क सलामत है।-
एक बार फिर देखा है हमने,
टूटे हुए को टूटते हुए ,
बिखरे हुए को बिखरते हुए,
कराहते हुए को चोट खाते हुए,
चिल्लाते जज्बातों को चीखते हुए,
एक बार फिर देखा है हमने मरे हुए को मरते हुए।
उजड़ी हुई बस्ती बसा न सको, तो जलाया तो न करो।-
I negotiated
a whole me to a broken us,
a healed me to a damaged us,
a real me to a virtual us,
a peaceful me to a chaotic us,
a calm me to a restless us,
I negotiated a secure today to an uncertain tomorrow.
I should have loved myself more than the illusionary you.-