घुप्प अंधेरे की घड़ी में तीन बज रहे हैं ,रात सबसे गहरी हो तो समझिए सवेरा होने को है। - Pragya Mishra 'पद्मजा'
घुप्प अंधेरे की घड़ी में तीन बज रहे हैं ,रात सबसे गहरी हो तो समझिए सवेरा होने को है।
- Pragya Mishra 'पद्मजा'