(विचार)
आता है जाता है मन को समझाता है
व्यक्ति मनन कर निर्णय ले पाता है
आन्नद की बौछार से मानव नहाता है
नित्य नए कार्य मे सलंग्न हो जाता है
जीवन की धारा में बहता ही जाता है
कार्य को पूर्ण कर मानस कहलाता है
लिखती हुई पंक्ति से पंचमी जगाता है
विद्या की देवी को नमन करता जाता है
आधार को आभार मान नित्य वंदना गाता है
शुभ दिन का दीपक गणपति से पाता है
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