वख्त के साथ गुजर चुका हूं मैं
मुट्ठी की रेत सा फिसल चुका हूं मैं
हुआ करता था बर्फ़ सा कभी,
जाना, अब पिघल चुका हूं मैं ।-
Geek
Engineer in making 💻
Duniya ki Moh maya se bhot dur 😜😛
Mathurawasi ... read more
जाना,
मेरे हर दिन की किताब को तेरा चेहरा देख कर बंद करना,
मुझे इस कदर खुशी देता है जैसे किसी राही को मंज़िल !-
जाना ,
जब से तुम आई हो,
ज़िंदगी इस कदर महक रही हैं
कि अब फूलों की जरूरत नहीं !-
खुशी का हर पल भर के जियो जनाब,
कम्बखत दुनिया में ना जाने ये फिर कब मिले !-
ईद तुम्हारी थी, हमने मंदिर सजा दिये.
तुम्ने पानी पिलाया, हमने दिये जला दिये.
तुमने अहम् छोडा हमने जाति छोड़ी ,
तुमने अहम् छोडा हमने जाति छोड़ी ,
सब कुछ त्यागा ओर भाई गले लगा लिये-
समझते थे ज़िंदगी जी रहे है हम्,
मगर खुद्को, दो लम्हे भी जिये ना गये!-
तुम यों ना मुझे सताया करो...
quarantine में ना बाहर जाया करो.
पराये virus को ना अपना बनाया करो..
एक जिम्मेदारी तुम भी निभाया करो.
बच्चो को ये गलत पाठ ना पढाया करो.
गलती खुद करके, दोषी सरकार ना बताया करो.
खुद के लिये तो नियम अपनाया करो.
तुम यों ना घर से बाहर जाया करो.-
आंसू अक्सर पाक रूह दर्शाते है,
इन्हें कमजोरी की निशानी तो समाज ने बनया है!-
सोचा था भुला देंगे उसे,
मगर कम्बखत तो ये दिल है, जो आज भी रो रहा है!-