pavnesh singh   (Pavnesh singh)
5 Followers · 5 Following

read more
Joined 24 March 2020


read more
Joined 24 March 2020
21 OCT 2021 AT 18:32

कोई पूछे तुमसे मेरा पता, तुमको बस इतना करना है ,
आंखे खुद बोलेंगी सब कुछ , तुमको बस चुप रहना है ।।

जब कुछ भी न कह पाओ तुम, तो तुमको फिर ये कहना है ,
मैं इज्जत उसके घर की हू, वो मेरे लिहाज का गहना है

सब कुछ मेरा तेरा है ,तो आंख मिचौली कैसी ये,
नदी सा हल्कापन है मुझमें ,पर तुम्हे दरिया सा बहना है ।।

आंखे खुद बोलेंगी सब कुछ ,तुमको बस चुप रहना है ।।.....

ये कोरे पन्ने बस्ते में ,तेरे पास ले आऊं क्या
हाथ पकड़ के तेरा मुझको उन दो हाथो से कुछ लिखना है ,

आंखे खुद बोलेंगी सब कुछ , तुमको बस चुप रहना है ।।

दूर रहूं फिर गजले लिखूं ,देखो ये बात सही है ही नही,
दूरी कम करनी है मुझे, मुझे तेरे साथ ही रहना है ।

आंखे खुद बोलेंगी सब कुछ , तुमको बस चुप रहना है ।।.......

(पवनेश सिंह )

-


22 AUG 2021 AT 11:15

सवारू तेरी जुल्फों को ,फिर तुझसे नई एक शशारत करू,
बचा लू हर बला से तुझको ,और हर दम तेरी हिफाजत करू ।।

यू तो पूरा दिन ही देखो ,लग जाता है खुद के कामों में ,
आठ पहर का दिन है होता, आठों पहर मैं तुझसे मोहब्बत करू।।

सवारू तेरी जुल्फों को ,फिर तुझसे नई एक शशारत करू।।

अब जो भी है सब तुझसे है , तेरी गलती पर क्या ही कहूं,
तू मेरे आंगन की तुलसी है , तुझसे मै कैसे नफरत करू।।

सवारू तेरी जुल्फों को ,फिर तुझसे नई एक शशारत करू,।।



-


22 JUN 2021 AT 20:48

सुनो , दिलो को तोड़ने वालो तरीका ए तौर से
तुम्हे हमसे मोहब्बत हो जाए,और हमे किसी और से।।

-


20 MAY 2021 AT 16:42

तुम लिखो अपने तजुर्बे से,हम अंदाजे से लिखना चाहते है ,
ये अंधेरे का घर ज़िन्दगी मेरी ,अब हम सूरज से निकलना चाहते है ।।

रिश्ते बचाने को कैसी कश्मकश में घिर गए लोग ,
नेकदिल है आप ,वही करिए जो आप करना चाहते है।।

नशे की जुबां थी मेरी, ना जाने क्या कह गए हम
बताते हैं सब की हम हमसफर बदलना चाहते है ।

तुम लिखो अपने तजुर्बे से , हम अंदाजे से लिखना चाहते है ।।




-


20 MAY 2021 AT 8:13

हकीकते सबकी बयां करता हू, सब मुझे खराब कहते है ,

जो देती है मेरी जुबां को ताकत , उसे हम शराब कहते है ।

-


28 APR 2021 AT 20:57

एक रोज सपने में वो मुझे फिर उसी नाम से पुकारती हुई नजर आई,
ये ख्याल जागने के बाद आया, कि रूखसती के बाद लोग अपने नहीं होते।

-


24 APR 2021 AT 20:03

एकमुश्त अपना दिल उधार दे डालने वाले हम
मोहब्बत को किश्तों में लौटाने वाली वो।।

-


20 APR 2021 AT 19:26

यूं तो ज़माने में हर शख्स से मेरी तबियत मिलती है ,
बस घर में रखे उसके लिखे खत अब अपने से नहीं लगते।।

-


17 APR 2021 AT 9:48

एक अरसा बीत गया खुशनुमा जिंदगी जीते जीते,


परेशानियों के बाजार से फिर कुछ मुसीबतें खरीद ली हमने।

-


9 MAR 2021 AT 11:24

हस्र एक सा हो सभी का इश्क में जरूरी तो नहीं,

जो परिंदे मोहब्बत में हो उन्हें उड़ने से रोका ना जाए।

-


Fetching pavnesh singh Quotes