कुछ लोग वकालत करने लगे थे
शातिर दिमाग अपने ही दोस्तो पे आजमा लिया-
#Voice_lover_🎙️🎧
#cric.lover 🏏
#Spe... read more
दोस्ती को मेरी क्या बखूबी से निभाया उसने
किसी को मेरी गलती से ज्यादा गलत बताया उसने
और जो दोस्ती की मिसालें पेश किया करता था
दोस्ती को कुछ यूं हकीकत में बताया उसने-
अब हकीकत ए जिंदगी से रूबरू हो गए
वो पास आए हमारे और फिर दूर हो गए
जाना है उनको हमसे दूर ये तो पता था
पर इतनी जल्दी करके वो मशहूर हो गए
वो दिन आया था जब वो हमारे हो गए
दिन वो भी निकल गया जब गैर के हो गए
और लगते थे बड़े शर्मो हया के वो हमे
हमसे बेवफाई करके वो बेशरम हो गए
कहती थी कब आओगे मिलने मुझसे
मिले जब एक बार तो फिर दूर हो गए
और सपना है मिलने पर गले लगाऊंगी
जब गले लगाया तो सारे सपने चुर हो गए
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(मंजिल की तलाश)
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चल पड़े है कुछ यूं हम
मंजिल की तलाश में
(अनुशीर्षक में पड़े)
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बादलों ने बरसना छोड़ दिया
लगता है...
उस बेवफा ने फिर किसी का दिल तोड़ दिया-
इस जहां में दर्द हर इंसा को है।
बस फर्क इतना है..
कोई बांट देता है तो कोई छुपा लेता है।।-
कहती है लड़ाई क्यूं नहीं करते हो मुझसे
मैने कहा भला कोई खुद से कैसे लड सकता है-
मुलाकात अभी बाकी है
बातें सारी अधूरी जैसी है
तेरा यूं अकेले जाने की सोचना
मुर्शद मेरी सांसे रोक देने जैसी है-
नटखट बालक बंसी बजाए
माखन चोरी- चोरी खाए
गोपियों के वो रास - रचैया
यशोदा के वो कृष्ण- कन्हैया
राधा के वो प्रेम- सरोवर
मीरा के वो ह्रदय की धड़कन
बलदाऊ के वो छोटे- भैया
सुदामा के वो मित्र मन-मोहन
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