रंगीन ख्वाहिशों को
ढक दिया,
सफेद रंग से...
अब सब शांत..!!
✍️मोहिनी-
कोई कोहिनूर भी दे तो मैं सौदा न करूँ!!
✍... read more
सुनो...
एक लम्हा
जो वक़्त के हाथों..
टूटकर गिरा था कभी,
आज वापस उसे,
हाथों में अपनी
थाम लिया है!!
✍️मोहिनी
-
कुछ अनमोल रिश्ते.......
जो कैद हैं दिल में,
वो शब्दों में व्यक्त नही होते!!
✍मोहिनी-
किया वादा जो मुझसे है, सुनो तुम भूल न जाना
रहो चाहे जहाँ भी तुम....उम्रभर साथ निभाना!!
✍️मोहिनी
-
सुनो...
तुम रेत पर लिखी
मेरी वो इबादत हो,
जिसे...
हर आती लहर
अपने साथ बहा ले जाती है,
और ...
मैं बिना थके
फिर से लिखती हूँ तुम्हे,
इस आस में..
शायद
अब कोई लहर नही
पहुँच सकेगी तुमतक,
और तुम साथ रहोगे मेरे
मेरे बनकर..!!-
मन ने तुम्हे सौपा,
एक अलहदा विश्वास की डोर
जो रूह से बंधी ,
आकर्षण नही था क्योकि
मन से जुड़े बंधन में
शरीर मायने नही रखता।
पर तुमने चुना मुझे
देखकर ,सोचकर,
भीड़ में से एक चुनना।
प्रेम प्रेम होता है
कोई विकल्प नही होता,
और मैं प्रेम नही
बल्कि
कुछ समय के लिए
चुनी गई विकल्प थी।
इस रूप को ठुकराकर
प्रेम को बचा लिया मैंने
जो सिर्फ और सिर्फ प्रेम है
ऐसा कर
खुद को बचा लिया मैंने..!!
-
प्रेम
उन्ही के हिस्से में अधूरा रहता है,
जो शिद्दत से निभाना जानते है..!!
✍️मोहिनी-
सुनो..
कभी दिखी मेरी आँखों की नमी तुम्हे,
नही ना,
तुम तो पास होकर भी कितने दूर थे,
समझ ही न पाई...
अंजाने में ही कई हक़ सौप दिए ,
जिनमे सबसे खास था...
गले लगकर रोना...
जो किसी से न कह पाई,
उन सभी बातों का राजदार बनाया तुम्हे,
पर भूल गयी..
रंगीन रोशनी में ,
बिन मांगे होती खुशियों की बरसात में,
कौन रोने को कंधा देना चाहेगा...
तुम हाँ तुम...
मेरे पास हो,
मुझे ,मेरी भावनाओ को समझ रहे हो...
ये एक भ्रम ही तो है...
खुली आँखों से सोचने वाला भ्रम..!!
✍️मोहिनी
-
परेशानी या अकेलेपन में
साथ माँगने पर
इग्नोर करने या
दूर जाने की अपेक्षा
कोई अगर प्यार से
सिर सहला दे,
या फिर
प्यार से समझा दे
तो...
अच्छा लगता है .........!!
-
कुछ प्रेमिकाएं
जिनके हिस्से में कभी नही आया प्रेम,
वो पढ़ती रही किस्से ,
सुनती रही कहानियां,
और देखती रही आस पड़ोस में..
उन्होंने भी चाहा,
एक प्रेम भरा रिश्ता अपने लिए
समाज और रस्मो से परे,
हमेशा ठुकराया ही गया
उनके कोमल हृदय में भरे प्रेम को...
छोटी सी ही ख्वाहिश रही होगी
कोई तो हो जो...
उनका भी इंतजार करे।
छोटे बच्चे की तरह जिद्द पूरी करे
और इतना भी नही तो...
उन्हें रोने पर अपने कंधे का सहारा दे दे
और रो लेने दे.... जी भर कर
जिससे उनके अंदर भरा प्रेम
बह जाये ... खारे आँसुओं के रूप में..
पर...कुछ प्रेमिकाओं के हिस्से आती है ,
सिर्फ रिक्तता...
ना प्रेम , ना प्रेमी ,ना ही कोई सहारा !!-