Manushree Garg  
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A lively soul who's a lover and learner of life .❤️🌻
Joined 28 May 2019


A lively soul who's a lover and learner of life .❤️🌻
Joined 28 May 2019
11 OCT 2021 AT 16:35

It's okay to stand alone !
Breathe .
You have the world within !

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23 JUN 2021 AT 12:32

ज़माने भर की खुशियां ,
अपने पंखों में भर लाती है ...

छलक कर बिखर जाते हैं सितारे फजां में,
वो जब भी गुनगुनाती है....

कभी उसके रूआब पे तो कभी उसकी मासूमियत पे हम फ़िदा हैं ,

की वो निगाह भर के देख ले जिसको ,
ख़ुदा कसम..बस कहर ढाती है...

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9 SEP 2020 AT 13:09

अच्छा सुनो..

दर्द जो भी है , उसे दिल तोड़ने मत दो
ज़िंदगी को कभी मुंह मोड़ने मत दो
अंतिम तीर जबतक है ज़िंदगी के तर्कश में..
ख़ुदको यूं उम्मीदें छोड़ने मत दो

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4 SEP 2020 AT 10:55

समय के साथ अलग करने पड़ते हैं ख़ुद से ,
ख़ुद के ही कुछ हिस्से..
वरना सड़ जाता है वो हिस्सा
और खा जाता है समूचे शरीर को,
न जन्म लेने देता है नए हिस्सों को ..
न बनने देता है नए किस्सों को ..

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31 AUG 2020 AT 14:14

न जाने वो कौन है मुझमें ..
जो मेरे बिखरे सुरों को साज़ देता है,
मेरी ख़ामोश ख्वाहिशों को आवाज़ देता है,
वो दिखता है कुछ मेरी ही छाया जैसा..
जो मेरे पंखों को परवाज़ देता है

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27 AUG 2020 AT 11:11

कहां तो तुम्हें ख़ुदा बोल देगा
कहां तुमको ही कड़वी दवा बोल देगा,
गलती उसकी नहीं , वो ऐसा ही बना है..
वो झूट है..
वो ख़ुद को ही सच का सगा बोल देगा

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24 AUG 2020 AT 13:11

इसलिए भी लोगो को हम
सर आंखो पर कम रखते हैं..
कि अक़्सर वो जिन आंखों में बसते हैं,
उन्हीं को नम करते हैं

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19 AUG 2020 AT 21:03

न कभी प्यार में पड़े होंगे ,
न कभी प्यार पढ़ा होगा उन ने..
जिन्हें गलतफहमी है कि प्यार लिखने को आशिक़ी लाज़मी है

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16 AUG 2020 AT 14:19

कुछ लोग यूहीं कभी निकल पड़ते हैं बीते कल की सैर पर,
मिलने .. उन लोगों से नहीं , जो कभी वहां रहते थे ,
मिलने.. उस इश्क़ से , जो शायद बस वहीं रहता है

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13 AUG 2020 AT 11:15

कई रोज़ हुए कुछ खफा सी थी , बड़े दिन बाद आयी हैं
जाते हुए बेचैन सी थी ,ये हवाएं अबके सुकून लाई हैं

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