इन हरे मैदानों पार
नदियो संग बहते आती
अपने आलिंगन से तुम्हें
ज़िन्दगी महसूस कराती
संग तुम्हारे एक संसार सजाती..!!
ख़्वाशियो के अर्थ
वसंत के मायने लिखते
एक नई ऋतु के आगाज़ से
तुम्हारी ध्वनि को
चंद्र कलाओं की राग बनाती....!!
पंछी बन पहाड़ो के पार जाती
सांझ को तुम में समा जाती
मेरे घुंघरू की ताल से
वसुधा को थिरकाती
यश भर रोशनी की झिलमिल लगती..!!
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