जिंदगी में यही सिख हमे मिली है, क्षत्रिय वचन के पक्के होते है, कर्तव्य की सीमा का पालन करते, चाहे वो दोस्ती हो या प्यार.... वचन ही क्षत्रिय का धर्म....
जो आदमी अपनी जबान का पक्का नहीं होता, वो तो खुदके माँ-बाप का भी नहीं होता, और ऐसी औलाद नाजायज मानते है हम....
अच्छे रिशते की नीव है वचन, तुम्हारी हमारी इंसानियत की पहचान है वचन...!! अग्निपरीक्षा है ये वचन जिसे हमेशा पार करते है हम...!! #वचन