चलो रह लो मशरूफ तुम किसी और की मोहब्बत में...इतनी चाहत के बाद तुम मेरे ना हुए तो किसी ओर के क्या होगे..।। -
चलो रह लो मशरूफ तुम किसी और की मोहब्बत में...इतनी चाहत के बाद तुम मेरे ना हुए तो किसी ओर के क्या होगे..।।
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इश्क़ हो तभी तो इश्क़ की जफ़ा लिखेंऐसे क्या लिखें...चाय लिखें या बेवफा लिखें ।। -
इश्क़ हो तभी तो इश्क़ की जफ़ा लिखेंऐसे क्या लिखें...चाय लिखें या बेवफा लिखें ।।
इंतेहाई अंधेरी है शब, मगर सवेरा जरूर होगा...तेरी हर एक कहानी में, मेरा ज़िक्र जरूर होगा..।।माना के रुसवाई है इन दिनों...पर मुझे यकीं है खुद पे, कि इक दिन प्यार जरूर होगा..।।ये सुरमई आंखे, सुर्ख लब और हाय ये रुखसार...देखना मेरे कत्ल का इल्ज़ाम, तुमपे जरूर होगा..।। -
इंतेहाई अंधेरी है शब, मगर सवेरा जरूर होगा...तेरी हर एक कहानी में, मेरा ज़िक्र जरूर होगा..।।माना के रुसवाई है इन दिनों...पर मुझे यकीं है खुद पे, कि इक दिन प्यार जरूर होगा..।।ये सुरमई आंखे, सुर्ख लब और हाय ये रुखसार...देखना मेरे कत्ल का इल्ज़ाम, तुमपे जरूर होगा..।।
हज़ार जाम, हज़ार मयखाने...निगाह ए यार की लिज्जत, शराब क्या जाने..।। -
हज़ार जाम, हज़ार मयखाने...निगाह ए यार की लिज्जत, शराब क्या जाने..।।
ज़र्द पत्ते और जनवरी की बारिश के साथ जीते हैं...छोड़ो मोहब्बत वोहब्बत चलो "चाय" पीते है..।। -
ज़र्द पत्ते और जनवरी की बारिश के साथ जीते हैं...छोड़ो मोहब्बत वोहब्बत चलो "चाय" पीते है..।।
लोगों से मुलाकातों के लम्हे याद रखता हूं...(My add-on in description) -
लोगों से मुलाकातों के लम्हे याद रखता हूं...(My add-on in description)
लगता है महफ़िल में उतरना पड़ेगा दोबारा...कुछ लोग भूल गए है मयार हमारा।। -
लगता है महफ़िल में उतरना पड़ेगा दोबारा...कुछ लोग भूल गए है मयार हमारा।।
फुर्सत में याद करना हो तो ना ही कीजिएगा हमें...हम जरा तन्हा जरूर है, मगर फ़िज़ूल नहीं।। -
फुर्सत में याद करना हो तो ना ही कीजिएगा हमें...हम जरा तन्हा जरूर है, मगर फ़िज़ूल नहीं।।
सुकून में डूबा इक शायर गुम सा लगता है...ए चाय मुझे ये इश्क़ बिल्कुल तुम सा लगता..।। -
सुकून में डूबा इक शायर गुम सा लगता है...ए चाय मुझे ये इश्क़ बिल्कुल तुम सा लगता..।।
इतना आसां नहीं हैं... हमें आसां कर पाना...बड़ी मुश्किल से... मुश्किल हुए हैं हम...!! -
इतना आसां नहीं हैं... हमें आसां कर पाना...बड़ी मुश्किल से... मुश्किल हुए हैं हम...!!