Mamta Singh   (Mamta Raj)
572 Followers · 54 Following

read more
Joined 1 March 2018


read more
Joined 1 March 2018
21 MAR AT 23:26

कविता
ये हैं क्या!!
चंद शब्दों,
या कुछ पंक्तियों का समूह।
या किसी विरहनी के अंतर्मन से निकली व्यथा।
किसी भक्त के वाणी से निकली
उसके अराध्य की कथा।
प्रेमिका के सौंदर्य पर पागल किसी
प्रेमी की अभिलाषा।
या फिर पथिक के बार- बार गिर कर भी ,
गंतव्य पर पहुंचने की आशा।
देश पर जान न्योछावर करने को उतावले ,
जवानों की वाणी।
या फिर बच्चों को सीने से लगा
मां गाती है जो कहानी।
किसी गृहणी के रोटियों के भाप से जलने पर,
मन में आते भाव।
या फ़िर लहलहाती फसल देख किसान जो गावे ,
मूंछ पर दे के ताव।
भाव है सबके अलग-अलग,
अलग है सबकी कथा व्यथा।
खुशी या ग़म में जब मन कुछ कहता,
तब जाकर बनती है एक नई कविता।

-


4 JAN AT 19:17

कोई एहसास रहा नहीं बाकी ,
अब इन्सान की फितरत में ।
मशीन बन के रह गया है ,
जिंदगी की जरूरत में..

-


31 DEC 2024 AT 22:51

नया साल

सूरज ढलता है
ताकि ,
तारे जगमगाएं ।
फूल खिलते हैं ,
और बिखड जाते हैं ।
ताकि ,
कोई कली मुस्कुराये।
कह कर अलविदा,
विदा लेता है दिसंबर ।
ताकि,
दिसंबर के अनुभवों से सीख कर।
जीवन पथ पर ,
जनवरी आगे बढ़ते जाए

-


31 OCT 2024 AT 15:07

कितना अजीब है न,
जब भी कुछ मांगना हो,
हम हांथ जोड़ते हैं,सर झुकाते हैं।
वैभव, शक्ति,या शिक्षा,
हर चीज की खातिर,
स्त्री से हीं गुहार लगाते हैं।
पर वही स्त्री जब शिशु रुप में
गोद में आती।
सब उसे बोझ बताते हैं!!
ऐसा क्यों??

-


21 OCT 2024 AT 12:54

हौले-हौले कोई अजनबी आता है,
हमारी जिंदगी में
और फिर हौले-हौले वो हमारी जिंदगी बन जाता है♥️

-


10 OCT 2024 AT 13:33

जन्म लेते हैं कुछ ऐसे शख्स ,
इस जहां में।
जो हम सभी की तरह ही ,
खाली हाथ आते हैं।
पर अपनी हिम्मत, मेहनत और ईमानदारी से,
एक ऐसी दुनिया बनाते हैं।
जहा सिर्फ अपनों को नहीं,
सारी दुनिया को बसाते हैं।
जब भी होती उनकी बिदाई
वो सबकी दुआं और आशीर्वाद लेकर जाते हैं 🙏

-


2 OCT 2024 AT 10:31

गांधी वादी बनने की खातिर
नपुंसक मत बन जाना।
जो आए संकट ,
माता और मातृभूमि पर
दुश्मन का सर काट लाना🙏






-


25 SEP 2024 AT 11:24

पुर्वजों को सम्मान मिले🙏
संतान को सौभाग्य मिले🙌
इस उम्मीद को लेकर♥️
हम स्त्रियां
जितिया पर्व है मनाती।
पुआ और पकवान बनाकर
पुर्वजों को भोग है लगाती।
स्वयं निर्जला उपवास कर,
संतान का सुख सौभाग्य ईश्वर से
है गुहार ‌लगाती।
हर मां की गोद भरी हो
सबकी संतान खुशहाल रहे।
जिउत वाहन भगवान कि कृपा से,
खुशहाल मायका और ससुराल रहे🙏

-


20 SEP 2024 AT 16:14

अगर कभी किसी रोज़,
रब से मुलाकात हो जाती।
हो जाती उसकी ऐसी मेहर,
के दुआं मेरी कबूल हो जाती।
तो बन जाती मैं चंचल हवा,
और बिखरा देती तेरी जुल्फों को।
या बन जाती नर्म जाड़े की धूप,
तुझे अलसायी नींद से जगा देती।
बन जाती इक भ्रंमर ,
कानों में तेरे हौले-हौले से,
गीत प्रेम के गुनगुना देती।
बन सावन की रिमझिम बारिश,
तुझे यादों में अपनी भींगो देती।
या बन के तितली,
जा बैठती तेरी उस डायरी पर।
जिसमें तुम आज भी लिखते हो,
सिर्फ मेरे लिए..

-


14 SEP 2024 AT 18:46

आज हिंदी दिवस है।इस अवसर पर शहर में एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया।इस आयोजन में मुख्य अतिथि के लिए एक राजनेता और हिंदी फिल्म के एक जाने-माने अभिनेता को आमंत्रित किया गया।तय समय पर कार्यक्रम प्रारंभ हुआ।मंच संचालक ने अभिनेता और राजनेता को अपनी मातृभाषा के विषय में कुछ कहने के लिए मंच पर आमंत्रित किया।
दोनों विशिष्ट अतिथियों ने मंच पर आकर सभा को कुछ इस प्रकार संबोधित किया...
Dear friends.today is Hindi day...!!

-


Fetching Mamta Singh Quotes