ज़िन्दगी में एक वक्त जरूर आता है, जब आपको यकीन हो जाता है, कि आप सच में उन लोगो मे से एक हो, जो उसके आस पास रहते है। और आप फिर बहुत दुखी हो जाते हो लेकिन गलती आपकी है क्योंकि गलतफहमी आपको ही थी।
खुद ही किया भरोसा खुद ही हुए निराश, अब जिसमे जलना है मुझको, वो पश्चाताप की आग।
या तो कुंदन बन के निकलूंगा या हो जाऊँगा राख।
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