Madhavi Vijay Gaikwad  
127 Followers · 158 Following

Joined 27 April 2020


Joined 27 April 2020
25 DEC 2020 AT 22:36

शब्दांनाही सुचत नाही
कसं बोलकं व्हावं
अन् भावनांना गुंफता गुंफता
त्यांनी कवितेचं रूप घ्यावं

-


6 OCT 2020 AT 23:10

सही गलत का तजुर्बा नही है अबतक
सवरते रहते हो आप हमें जबतक

-


5 OCT 2020 AT 23:17

अबोल माझी प्रीत तुला समजेल ना
धुक्यातले दव,बिंदू म्हणून उमजेल ना
कळ्यांतला सुगंध तुजसाठी खुलेलं ना
फुलांतला अर्क रसाळून उमलेल ना

-


4 OCT 2020 AT 23:18

वो लम्हे थाम कर रखना चाहती हूं
जीसमे साथमें हम दोनो बारीशमें भिगे थें

वो लम्हे थाम कर रखना चाहती हूं
जब पेहली बार नजरोसें मुलाकात हुई थी

वो लम्हे थाम कर रखना चाहती हूं
जिनमें हम एक दुसरेके क़रीब थे

वो लम्हे थाम कर रखना चाहती हूं
जो मिलकर साथमें बिताए थे

वो लम्हे थाम कर रखना चाहती हूं
जब दो दिल मिलनेके लिए मशहूर थे

वो लम्हे थाम कर रखना चाहती हूं
जिनमें बातोंसे नही आँखोंसे गुफ्तगूं होती थीं

वो लम्हे थाम कर रखना चाहती हूं
जब हातोंमें हात लेकर उम्रभर साथ निभानेके वादे किये थे

-


3 OCT 2020 AT 23:01

मोहब्बत तो आज भी तुमसेही करते है
आयेंगे एक दिन ,इसी इंतजार में रहते है

-


2 OCT 2020 AT 23:34

उम्र लग गई
हमे मिलते मिलाते हुए
अब ना करेंगे वक्त
दिल को सजते सजाते हुए

-


1 OCT 2020 AT 23:06

कोणासाठी लिहू आता?
लिहण्यासारखं आता काही नाही
जपलं होतं पुस्तक माझं मी,
जे देत होतं माझीच मला ग्वाही

-


1 OCT 2020 AT 23:01

तुमको पाना तो शायद हमारे नसीबमें नही
फिर भी करेंगे इंतजार क्योंकि हम तो है राही वही

-


30 SEP 2020 AT 23:38

मोहब्बत तो इतनी गहरी थी उन दोनोंमें
फिर भी अलग होना पड़ा
क्या करे जनाब जब
जिंदगी के उसूल उनकी मोहब्बत के बिच खड़े थे

-


29 SEP 2020 AT 22:49

उसकी कलम में कुछ महक तो जरूर है
यूँही नही खूबसूरत सी खिलती वे

-


Fetching Madhavi Vijay Gaikwad Quotes