मां की गुड़िया   (पूर्ण आस्तिक)
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Joined 10 November 2020


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Joined 10 November 2020

तुमसे मोहब्बत तुमसे शिकायत बस तुम्हीं से रजा होगी ....!!
महीने 2 महीने का खेल नहीं "जाना" तुमसे सात फेरों की वफा होगी .....।।

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मेरे रोने पर जो मुझे हंसा दे
कोई इतना खुश मिजाज होगा क्या...?

मैं रूठ जाऊं तो मुझे प्यार से मना ले
कोई इतना इश्कबाज होगा क्या ...?

जो हो जाए कभी गलती मुझसे, तो मुझे विनम्रता से समझाएं
कोई इतना समझदार होगा क्या...?

उसकी नज़दीकियों से महक जाए मेरी रूह
उसका किरदार ऐसा होगा क्या ...?

2 या 3 महीने का नहीं पूरी जिंदगी भर का साथ चाहिए
उसकी मोहब्बत में ऐसा रिवाज होगा क्या...?

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इश्क से पहले दोस्ती कि पहल होगी
वो आज नहीं तो कल होगी ...!!

कंधे पर दुपट्टा माथे पर बिंदी का दीवाना होगा वो शक्स
जिसके दिल में मेरे लिए एक दिन हलचल होगी ...!!

मेरी खामोशियों को पढ़कर मेरा हाल बताएगा वो
उम्मीद है उसमे इतनी तो समझ होगी ...!!

बिछड़ने का रिवाज नहीं होगा उस रिश्ते में
शायद हम दोनों को ऎसी मुहब्बत होगी...!!

उससे जुड़ा हर रिश्ता निभाने की जिम्मेदारी लूंगी
तभी तो हमारी happy Family होगी ...!!

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आज सुना सबको मामा के घर की बातें करते हुए
फिर झलक गए आंसू आंखों से होते हुए ....!!

दिल दहल गया यह सोच कर कि 1 दिन मातम का माहौल होगा
मम्मी नानी के बाद हमारा ननिहाल नहीं होगा ..!!

अभी मतलब से जुड़े हैं बहुत से रिश्ते
डोर टूटते ही उनका कोई कर्जदार नहीं होगा
मम्मी एक दिन हमारा ननिहाल नहीं होगा ...!!

खेत में हलचल आम की डाली पर झूला सब बातें याद आती हैं
नाना के संग गुजरी हुई यादें याद आती हैं
हो जाएगी भूमि बंजर उसका कोई हकदार नहीं होगा
मम्मी नानी के बाद हमारा ननिहाल नहीं होगा...!!

अभी ठिकाना है वहां रुकने का ,नानी के संग बैठकर प्यारी बातें करने का
घर में हो जाएगा हमेशा के लिए अंधेरा , जब उसका कोई चिराग नहीं होगा
मम्मी नानी के बाद हमारा ननिहाल नहीं होगा ...!!

नानी के प्यार को तरसते हैं फिर उनका सिर पर हाथ नहीं होगा
मम्मी एक दिन हमारा ननिहाल नहीं होगा ...!!

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इंसान की खूबसूरती उसके चेहरे में कम
और लहजे में ज्यादा होनी चाहिए ......!!

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कुछ ज्यादा ख्वाहिश नहीं है मेरी;
वो तोहफे में अपना कीमती वक्त और चार लोगों के सामने इज्जत दे
बस यही काफी है मेरे लिए ....!!

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जिसे रोना चाहिए खिलौनों के लिए ,उसे दो वक्त की रोटी के लिए रुलाती है;
ये जिंदगी है जनाब हर हाल में जीना सिखाती हैं ...!!

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जल्दबाजी सामान चुनने में करनी चाहिए
दामाद चुनने में नहीं — % &

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बच्चों को तकलीफ हो तो खाते वक्त भी निवाला छोड़ देती है;
वो मां है जनाब जो अपनी दुआओं से हर बुरी बला का रुख मोड़ देती है !— % &

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एक लड़का अपने पिता की कमाई सिर्फ 20 साल तक खाता है
बाकी की पूरी जिंदगी सबको खुद कमाकर खिलाता है— % &

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