आखिर, मोहब्बत मे हारने वाले ही तो
सच्चे आशिक होते है
अपना सब कुछ खो कर सिर्फ उस
एक इंसान को पाने की चाहत रखते है
ज़माने से मुख्तलिफ, हवा के रुख के खिलाफ
बहना मंज़ूर करते है
अंदर से टूट जाते है ,पर हार नही मानते
आखिरी साँस तक उस इंसान का नाम
अपनी ज़ुबान पे लेते है
हर इबादत मे खुदा से उसकी दुआ करते है
इश्क़, अधूरा ही सही ,
सच्चे आशिक उसे कबूल करते है।
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