Ishita Agarwal   (i_shhhit_a)
594 Followers · 88 Following

Joined 20 February 2017


Joined 20 February 2017
17 DEC 2017 AT 11:37

He left.

Maybe,
I wasn't worth
fighting for.

-


2 DEC 2017 AT 10:24

चाय की प्याली हाथों में पकड़
और तुम्हें अपने ख्यालों में जकड़..
मैंने दो पल ही सही,
जिंदगानी जी ली॥

-


2 DEC 2017 AT 9:38

तुम हकीकत में पा लेते मुझको,

तो उन सपनों की जरुरत ना पड़ती...

-


30 NOV 2017 AT 20:36

Pour me
a glass
of love, honey.
Your poison
wasn't enough
to kill me.

-


6 NOV 2017 AT 10:33

हर्फ़-हर्फ़ जोड़,
जिसे अपनी कविताओं मे उतारा|
फुरकत कि एक शाम क्या आई,
उसे किसी और कि नज़्मों में पाया|

-


17 OCT 2017 AT 0:32

नजरें ना तुमने हटाई,
पलकें ना मैने झुकाई|
कहा ना तुमने कुछ, पर सुना मैने सब कुछ|
पास ना तुम आये, कदम ना मैने बढ़ाये|

खामोशी तो नही कहूँगी हलचल जो थी दिलों मे|
इंतज़ार तुम्हें भी था, वक्त में भी देख रही थी|
तुम्हें शायद मेरे जाने का, मुझे तुम्हारे पास बुलाने का|

हर बार की तरह
पलकें भी झूक गयी,
हलचल भी थम गयी|
तुम वहीं सपने मे रह गए,
आँख मेरी जो खुल गई||

-


2 OCT 2017 AT 20:40

जब खुद मे खुशी तलाशना मुश्किल हो चला,
नीकल पड़े हम भी फकीरों के मौहल्ले।

-


2 OCT 2017 AT 14:36

अय्यार जमाने का दस्तूर,
पहले इश्क लड़ाता
फिर मशरूफ हो जाता।

-


1 OCT 2017 AT 18:59

जरा दूर से देखों ना, यूं पास क्यों आतें हो?
क्यों तुम मेरी यूं धड़कने बड़ाते हो?

हाँ जानंति हूं मैं, बड़ा प्यार जताते हो पर,
जरा दूर से करो ना यूं पास क्यों आते हो?

एक पल तो तुम मुझको पलकों पर बिठाते हो
फिर अगले ही क्षण धूल चटाते हो।

जरा दूर ही रहो ना, यूं पास क्यों आते हो?
क्यों तुम हर पल मुझको इतना सताते हो॥

कभी तेरी गोद में सर रख कर सोया भी मैं करती थी,
तूं जब अपनी बाहों में भरता खुश भी होआ करती थीं।

आज वहीं बाहें जब मुझको,
बीन मरजी मेरे जकड़ती हें

उसी गोद में अब
अश्रु की नदियाँ बहती हैं...
अश्रु की नदियाँ बहती है॥

-


1 OCT 2017 AT 18:07

काफी वक्त जाया कर दिया तुम पर,
अब जरा खुद को संवार ले हम।

-


Fetching Ishita Agarwal Quotes