ये दिन यूहीं नहीं आया था,नबी-ऐ-पाक ने अर्शा सहरा में बिताया था।फतेह मक्का पर दिलाकरमजलूमों को बचाया था।मासूम बच्चियों को,नया जीवन दिलाया था।गुमराह थे जो गुनाहों में,बेशक उन्हें मोमिन बनाया था।तब जा कर कहीं,ये दिन ईद का आया था।आप सभी को ईद मुबारकखुदा आपको गुमराही से बचाए -
ये दिन यूहीं नहीं आया था,नबी-ऐ-पाक ने अर्शा सहरा में बिताया था।फतेह मक्का पर दिलाकरमजलूमों को बचाया था।मासूम बच्चियों को,नया जीवन दिलाया था।गुमराह थे जो गुनाहों में,बेशक उन्हें मोमिन बनाया था।तब जा कर कहीं,ये दिन ईद का आया था।आप सभी को ईद मुबारकखुदा आपको गुमराही से बचाए
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मुझे तलाश थी एक मंजिल की सो चलता रहाराह में आई हर एक मुश्किल को मैं सहता रहाउम्मीद थी मेरा भी सूर्य एक दिन उदय होगा,पैरों की रफ्तार को अपनी कायम करता रहाबीता अरसा एक, पर राह खत्म न हुई मेरी,दिन ब दिन उम्मीदों पर पानी फिरता रहा।मैं थका नहीं, मैं रुका नहीं, यूहीं चलता रहा,मंजिल कभी आई नहीं, पर मैं चलता रहा। -
मुझे तलाश थी एक मंजिल की सो चलता रहाराह में आई हर एक मुश्किल को मैं सहता रहाउम्मीद थी मेरा भी सूर्य एक दिन उदय होगा,पैरों की रफ्तार को अपनी कायम करता रहाबीता अरसा एक, पर राह खत्म न हुई मेरी,दिन ब दिन उम्मीदों पर पानी फिरता रहा।मैं थका नहीं, मैं रुका नहीं, यूहीं चलता रहा,मंजिल कभी आई नहीं, पर मैं चलता रहा।
तुम अच्छे हो तो अच्छे ही सहीहम बुरे हैं तो बुरे ही सहीदुनिया सच्ची है तो सच्ची ही सहीवो रूठे हैं तो रूठे ही सहीनहीं फिक्र किसी को समझाने की,हम जैसे हैं वैसे ही सही। -
तुम अच्छे हो तो अच्छे ही सहीहम बुरे हैं तो बुरे ही सहीदुनिया सच्ची है तो सच्ची ही सहीवो रूठे हैं तो रूठे ही सहीनहीं फिक्र किसी को समझाने की,हम जैसे हैं वैसे ही सही।
कुछ अनसुलझे सवाल थेवो कितना चाहते हैं मुझे,बटवारा दौलत का हुआ,हर सवाल सुलझ गया मेरा। -
कुछ अनसुलझे सवाल थेवो कितना चाहते हैं मुझे,बटवारा दौलत का हुआ,हर सवाल सुलझ गया मेरा।
हर दिन गुजर जाता है काम की तलाश में,नहीं मिलता समय हमें,अपनों के साथ में,एक दिन थाम लो स्वयं को,और बैठो अपनों के साथ में । -
हर दिन गुजर जाता है काम की तलाश में,नहीं मिलता समय हमें,अपनों के साथ में,एक दिन थाम लो स्वयं को,और बैठो अपनों के साथ में ।
टारगेट कोई बात नहीं,बस बात है तेरे होने कीअपने दिल में तू ठान ले,अचीवमेंट हर दिन पाने कीक्या हुआ यहां से वहां जाना है,पैसा आएगा, खुद को सभांल ले तेरा जीवन है कुछ कर दिखाना,हक़ से कर, किंतु वही जो टारगेट कहे -
टारगेट कोई बात नहीं,बस बात है तेरे होने कीअपने दिल में तू ठान ले,अचीवमेंट हर दिन पाने कीक्या हुआ यहां से वहां जाना है,पैसा आएगा, खुद को सभांल ले तेरा जीवन है कुछ कर दिखाना,हक़ से कर, किंतु वही जो टारगेट कहे
जिन्हें पाने की तड़प थी कभी,आज उन्हें भूलना चाहते हैं।वो मोहतरमा हमारे लायक नहीं,उनसे मुँह फेरना चाहते हैं।। -
जिन्हें पाने की तड़प थी कभी,आज उन्हें भूलना चाहते हैं।वो मोहतरमा हमारे लायक नहीं,उनसे मुँह फेरना चाहते हैं।।
अरे यार तुम क्यों ऐसा करती होमिलता हूं तुमसे क्यों सहमती होप्यार है ना, फिर खुल कर सामना कर,ना जाने क्यों तुम, दुनिया से डरती होअरे क्या रखा है, इस जीवन के मान में,मुझसे तुम, भीतर से क्यों नहीं मिलती होजब होती हो पास मेरे, मन भर कर बोलो,क्या पता चल बसूं, डट कर क्यों नी जीती हो।। -
अरे यार तुम क्यों ऐसा करती होमिलता हूं तुमसे क्यों सहमती होप्यार है ना, फिर खुल कर सामना कर,ना जाने क्यों तुम, दुनिया से डरती होअरे क्या रखा है, इस जीवन के मान में,मुझसे तुम, भीतर से क्यों नहीं मिलती होजब होती हो पास मेरे, मन भर कर बोलो,क्या पता चल बसूं, डट कर क्यों नी जीती हो।।
तेरे बिना जिंदगी बेहाल हैकैसे कह दूं तू मेरी जान हैक्या तेरे बिन है जीना मेरायार तू ही तो मेरा संसार हैमाही कैसे जीऊं मैं तेरे बिनायार तू ही तो मेरा संसार हैप्यार है दिलदार है तू ही तो बस साथ हैक्या करूं जीवन का में, तू प्रलय और काज है। -
तेरे बिना जिंदगी बेहाल हैकैसे कह दूं तू मेरी जान हैक्या तेरे बिन है जीना मेरायार तू ही तो मेरा संसार हैमाही कैसे जीऊं मैं तेरे बिनायार तू ही तो मेरा संसार हैप्यार है दिलदार है तू ही तो बस साथ हैक्या करूं जीवन का में, तू प्रलय और काज है।
Jo paid story nahi padta usko -
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