फिरभी पल भर के इस मिलन के लिए क्यों लग जाता है पूरा जमाना ??
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#DOB- 04/02/1995
#Profession- Civil Engineer
#Hobbies- Social Service... read more
उसे जाना था चली गई, मुझसे तो रुकने की गुजारिश ना हुई..
वो मेरे शहर आई और चली गई, उसे मुझसे मिलने की जरा ख्वाइश ना हुई..
नहीं आया हमको दिखावे की मोहब्बत करना, वो दूर कुछ ऐसी हुई
"जैसे सावन आया और चला गया पर बारिश ना हुई"-
अगर तुम पवन गंगा हो तो मैं वो सागर बनना चाहूंगा,
जिसमें आकर गंगा की लहरें सदियों से मिल रही है।।-
ख्वाब टूटे तो कुछ नहीं टूटा,
पर जो उम्मीद टूटी, उसने सब तोड़ दिया..!!-
आपकी पढ़ाई का कोई महत्व नही रह जाता
अगर आपके द्वारा फेका गया कचरा अगली सुबह कोई अनपढ व्यक्ति उठाता है
"शिक्षित हो समझदार बनो"-
हम तेरी चाह में ऐ यार वहाँ तक पहुँचे,
होश ये भी ना रहा है कि कहाँ तक पहुँचे,
एक इस आस पे अब तक मेरी बन्द है ज़ुबाँ,
कल को शायद मेरी आवाज़ ही वहाँ तक पहुँचे
चाँद को छूकर चले आए हैं आज विज्ञान के पंख,
बस देखना ये है कि हम इन्सान कहाँ तक पहुँचे..!!-
गुजरते लम्हों मे खुशियाँ तलाश करता हूँ, प्यास इतनी है कि नदियाँ तलाश करता हूँ..!
जहाँ हर वक्त लोग गिनाते हैं खूबियाँ अपनीें, वही मैं अपने आप में हमेशा खामियाँ तलाश करता हूँ.!!-
इंसानी जिस्म में हमने सैकड़ों हैवान देखें हैं..!
हमनें दिल में रंजिश रख, महफ़िल में आए मेहमान देखें हैं..!!-
उस माता- पिता का, उस भाई- बहन का, उस दोस्त का और उस अंजान शख्स का..!
जिन्होंने आपका तब साथ दिया जब आप खुदको कमजोर, अकेला और लाचार महसूस कर रहे थे..!!
"उनके द्वारा दिए गए साथ और सहयोग के लिए"-