मुबारक हो तुमको, तुम्हारा महलो का शहर।छोटा आशियाना अब मैं भी बनाने लगा हूँ।। - Dil-E-Alfaz (अक्स)
मुबारक हो तुमको, तुम्हारा महलो का शहर।छोटा आशियाना अब मैं भी बनाने लगा हूँ।।
- Dil-E-Alfaz (अक्स)