वतन की ख़ाक में मर कर हर ज़ेहन में जीना अभी बाकी हैं.. !मज़ा तो देश की मिट्टी का हैं दोस्त जिसका कफन बाकी हैं.. !! - DB🅰️rymoulik
वतन की ख़ाक में मर कर हर ज़ेहन में जीना अभी बाकी हैं.. !मज़ा तो देश की मिट्टी का हैं दोस्त जिसका कफन बाकी हैं.. !!
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