पिताजी जब आप साथ थे ... तब सब ख्वाहिशें पूरी होती थी।।।।
अब तो बस जीवन में संघर्ष बचा है।।
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Company secretary By profession
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कभी-कभी भूल से ही लिख दिया करता ... read more
तू है तू ही रहेगी
इस दिल ❤️ मे
की ये दिल है मेरा....
कोई मुसाफिर खाना नही।।
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दिल के टूटने से डरता था।।
बिन मां बाप का वह भी बच्चा था
करता था बहुत प्यार उसको पर उसकी नाराजगी से डरता था
शायद इसीलिए तो छुप छुप के बिन बताए अपनी खामोशियों से वह लड़का आज भी उसे प्यार करता था-
लिखने को तो अभी भी लिख सकता हूं पर नहीं लिखूंगा मैं तेरे बारे में क्यों क्योंकि आज भी बहुत खुदगर्ज हो जाता हूं जब भी लिखने लगता हूं तेरे बारे में❤️❣️
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तेरी ही परछाई हूं... दूर होकर भी तुझसे जुदा नही हूं..... मेरे अक्स में आज भी तू ही तो है... जुदा होके भी तू मुझ में कहीं है।।
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ज़िंदगी के उस दौर से गुजर रहे हैं...
जहां बस आप का जिंदा रहना ही आप की कामयाबी है ।।-
ये रास्ते वीरान है।। इन विरानो में भी फैला है एक अजीब सी खामोशी का पहरा ।।
हर किसी के चेहरे पर है मास्क का पहरा।।
दिखती है बस निगाहे ।।
और इन निगाहों में भी है दर्द बहुत ही गहरा।।-
तू साथ है मेरे और मेरे साथ ही रहेगी।
परछाई नहीं हैं तू......
तू..... तो रूह हैं मेरी......
इस शरीर के बाद भी तू मुझ में ही रहेंगी..।।।-
कभी बन जाती है वह मेरे मुस्कुराने की वजह तो कभी बन जाती है वह मेरे चुप रहने की वजह ....
कभी कभी बहुत सोचता हूं मैं कि आखिर कब समझेगी कि वह की वही तो है मेरे जीने की वजह।।।-
कभी-कभी मेरी खामोशियां भी मेरे दिल की जुबां बन जाती है....
और इस तरह उसे मेरे दिल की खबर मिल जाती है ...।।।
दूर हूं उससे फिर भी उसे...
इस तरह मेरी हर एक खबर मिल जाती है...।।-