बात जब फिर आखिरी बात के बाद हुई उसके चलते फिर एक और रात बरबाद हुई, वो हुई नींद रुसवा, फिर कुछ ऐंसी करामात हुई हमें जागना पड़ा रातभर, जब तेरी यादों की बरसात हुई.....
तुम आना चाहोगे भी, तो ना आ पाओगे पहले की तरह दर्द अपना, मुझे ना बता पाओगे, जब हो जाओगे तन्हा तुम अपनों की भीड़ में उस रोज मुझपर, अपनापन ना जता पाओगे, हो जाऊंगा अनजान, उस वक्त इस कदर तुमसे जानते थे कभी, ये भी किसी को ना बता पाओगे.....