बस दो दिन की जिन्दगी में....2
आज जो है कल ना होगा कहीँ
बस दो दिन की जिन्दगी में
आज नहिँ पर कल होगा यहीँ
बस दो दिन की जिन्दगी में
जो है अपना सब छोडके जाना है
बस दो दिन की जिन्दगी में
फिर किस चिजका गुमान लगाए बैठे हो
बस दो दिन की जिन्दगी में
इसिलिए कहता हुँ यारा.......
हँसते हँसाते बिताओ वक्त अपना
बस दो दिन की जिन्दगी में
सारे गमको भुलाकर मुस्कुराते रेहेना
बस दो दिन की जिन्दगी में-
बस दो दिन की जिन्दगी में....१
शिकवा क्यूं और गिला किसलिए
बस दो दिन की जिन्दगी में
किस चिजका हिसाब लगाए बैठे हो
बस दो दिन की जिन्दगी में
आँख भरी है मगर छुपाए बैठे हो
बस दो दिन की जिन्दगी में
रिस्तोंको ऐसे भुलाए बैठे हो
बस दो दिन की जिन्दगी में
जो रुठें हैं उन्हें मनाए बैठे हो
बस दो दिन की जिन्दगी में
नासमझको इतना समझाए बैठे हो
बस दो दिन की जिन्दगी में-
गुलशन सा खीले दिल में यूं
तेरी यादों के आ जाने से
अब कोई शिकायत नहीं
दुनियाँ के मुह फेर लेने से
बस तमन्ना इतनी हि हे मेरी
तुझ संग दिल्लगी निभाने से
बस कोई नाराजगी नहीं
दुनियाँ के मुह फेर लेने से-
कैसी है यह जिन्दगी लाईमलाईट की
पर्दा उठ्ने से लेकर पर्दा गिरने की
सपनों का यहाँ सौदा होता है
कोहि हँसता है कोहि रोता है
कैसी है यह चमक लाईमलाईट की
दास्तान-ए-दोस्ती और दुस्मनी की
ईन्सानियत और बिकता जमिर है
पाता है कुछ और बहुत खोता है
कैसी है यह सम्मोहन लाईमलाईट की
ख्वाहिशे टुटने की और भुलाने की
ना शुकुन ना मिलती खुशी और है
हरपल तमन्नाओं को भुलाने की दौर है
कैसी है यह दुनिया लाईमलाईट की
औरों से बहुत दूर आगे निकलने की
मिलने पर खुशी ना बिछडने पर गम है
दर्द और मुश्किलें हरकदम है-
हर वक्त मुझे दिलसे तेरे दुआ मिले
जख्मों को भर दे ऐसी दवा मिले
हो हालात जैसे भी कभी ना दगा मिले
यूँ ही मुझे तेरे प्यारका तोहफा मिले
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दूर तुझसे यूं हो जाउँ सोचा तो नहीं था
तुझसे बिछडने का कोइ इरादा तो नहीं था
कितने ख्वाब सजाए थे संग तेरे जीने की
तेरे बगैर भी जी जाउँ इरादा तो नहीं था
वक्त और हालात ने मजबूर कर दिया हमे
तुझको यूं भूल पाउँ इरादा तो नहीं था
बस अब तो ख्वाहिश दिलमे है इतनी
जी लुँ ऐसे ही मरने का इरादा तो नहीं था-
गमको यूँ गले लगाना बेवजह तो नहीं
कोई था अपना सा उसे भुलाना बेवजह तो नहीं
जुबां पर आकर भी ना बताना बेवजह तो नहीं
सामने होकर भी यूँ नजरे चुराना बेवजह तो नहीं
तमन्नाओं को सबसे छुपाना बेवजह तो नहीं
दर्दे दिलको यूँ बेहेलाना बेवजह तो नहीं
लम्हा वही फिर याद आना बेवजह तो नहीं
खुदको खुदसे छुपाना बेवजह तो नहीं-
संदर्भ टोपी दिवस
👲👮🕵️👩🚒👩🌾👩🍳👷
मैले आज टोपी लाईन त्यहि भएर देखाईन
देखाउनकै लागि टोपी लाऊन मनले मेरो मानेन
मैले आज टोपी लाईन त्यहि भएर देखाईन
भरियालाई सोध एउटा टोपी को महत्व कति हुन्छ
आफ्नो आम्दानीले बर्षमा एउटा टोपी फेर्न पाएन
मैले आज टोपी लाईन त्यहि भएर देखाईन
सोध उसलाई देखाउन हैन शिर छोप्नलाई
टोपी लाउन एकदिन पनि छुटाएन
मैले आज टोपी लाईन त्यहि भएर देखाईन-