7 NOV 2018 AT 0:35

अवधपुरी प्रभु आवत जानी।
भई सकल सोभा कै खानी॥
बहइ सुहावन त्रिबिध समीरा।
भइ सरजू अति निर्मल नीरा॥

- ©"The ExperiMENTAL ScRiB