10 MAR 2019 AT 22:01

चीज़ों की अहमियत,उनके
खोने पर पता चलती है,
यारों की जरूरत उनके,
ना होने पर पता चलती है।
उन यादों के एहसास से,
इन आंखों में नमी बस जाती है,
उन हंसते चेहरों को देखने
के लिए ये आंखें तरस जाती हैं।
ज़िन्दगी में दौलत शौहरत न हो,
पर एक सच्चा यार होना चाहिए,
दुनिया के सारे गम मैं सेह लूंगा,
पर मेरा यार खुश रहना चाहिए।

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