ऐ फूल बाँटने वाले तुझे ये गुमान भी है?
तेरे शहर में तेजाब की दुकान भी है।
~चराग शर्मा-
बस तूने ही तो मन की हर बात शिद्दत से बोली है,
तभी तो मेने तेरे आगे प्यार की मुट्ठी खोली है।-
अब तक की जिंदगी में
सबसे ज्यादा दुख जिस चीज ने पहुंचाया है
तो वह "अच्छाई" है।-
इन आँखों का ही कसूर है सब
बिना बात की बात हो गई...
कहा था ना काजल मत लगाओ
देखो दिन में रात हो गई।-
प्रेम में हारे लड़के, सींचते हैं मन को
सूखे पौधे की तरह...
और चाहते हैं कोई सूखा फूल बचाना,
जैसे किताबों में रखकर।-
सच है, विपत्ति जब आती है , बढ़कर विपत्तियों पर छाजा,
कायर को ही दहलाती है, मेरे किशोर ! मेरे ताजा!
शूरमा नहीं विचलित होते, जीवन का रस छन जाने दे,
क्षण एक नहीं धीरज खोते, तन को पत्थार बन जाने दे।
विघ्नों को गले लगाते हैं तू स्वयं तेज भयकारी है,
कांटो में राह बनाते हैं। क्या कर सकती चिंगारी है।
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