अब अर्सों से "मैंने" शीशा नहीं देखा,तुम कहती हो न बहुत खूब दिखते हो,और बरसों से मैंने "शीशा" नहीं खोला,तुम कहती हो न आँखों में झांक लिया करो,---@शीष--- - मृत्यु
अब अर्सों से "मैंने" शीशा नहीं देखा,तुम कहती हो न बहुत खूब दिखते हो,और बरसों से मैंने "शीशा" नहीं खोला,तुम कहती हो न आँखों में झांक लिया करो,---@शीष---
- मृत्यु