सफर मुश्किल तो हे पर चलना तो पड़ेगा ।
घुट जहर का पी इस वक्त से निकलना तो पड़ेगा।
कब तक रहोगे ऐसे ही परेशान इस वक्त में अभी अधियारा हे कल रोशनी भी आयेगी और ये काली रात भी गुजर जायेगी।-
Every pain gives a lesson and every lesson changes a person.
अधेरों को हटा रोशनी का त्योहार आया हे।
अपने साथ खुशियों का पैगाम लाया हे।
सब गिले सिकवे भूल कर इंसान ने इंसान को गले लगाया हे। हर तरफ रोशनी ही रोशनी हे अमावस्या में भी रोशनी रूपी चांद नजर आया हे। श्री राम के नाम पर ये त्योहार मनाया है इसलिए श्री राम स्वयं रोशनी का दिया हर घर में जलाया हे।
Happy Diwali
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तन्हा ही तो थे पहले भी अब भी कुछ बदला क्या।
अकेले ही आये थे अकेले ही जायेगे कुछ हुआ क्या...
बेजान पड़ी जिंदगी में कभी रोए कभी मुस्कुराएं कुछ हुआ क्या? मतलब के रिश्ते टूटे मतलब की दोस्ती बिखरी मरे क्या? तन्हा ही आए थे तन्हा ही जायेंगे कुछ हुआ क्या...
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आज का युवा
सब अवगुणों की इसमें भरमार है कही बीडी सिगरेट तो कही दारु इसकी आदतो में शुमार है। सितारे गर्दिश में ही लगते हे सबके, चमकने की चाह इनमें कहा और है। इनको हर वक्त आराम ही आराम हे, मां बाप के पेसो का जो इनमे अभिमान है। कुछ हे जो बदलाव लाना चाहते हे, पर उनकी सोच की किसको कहा फिकर है। सबको ’मतलब की इस दुनिया में’, मतलब के रिश्ते से मतलब है।
अंतरराष्ट्रीय युवा दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं-
ये मेरा ही तो देश हे जहां खाना खा के कचरा रोड पर फेंक दिया जाता है। ये मेरा ही तो देश हे जहां एक दुनियां कार के अंदर एक दुनियां कार के बाहर है। ये मेरा ही तो देश हे जहां एक मिनिट में कोई अपना एक मिनिट मे कोई पराया हो जाता हे और ये मेरा ही तो देश हे जहां लोगों की सोच अपने तक ही मायने रखती है। ये देश तो मेरा हे पर लोग पराए हो गए है।
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Miss you नानी माँ
मेरी जान थी वो .....
में बोलता नहीं तो क्या हुआ मेरी पहचान थी वो।
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कोई हस कर अपना दुख छूपाता हे कोई रो कर अपना दुख जताता हे। ना कोई हे जिसे हाल ए दिल बता सके
इसलिये अकेलेपन को अपना साया बना रहे हे और कई बाते कईयो से हस कर छूपा रहे हे। कोई दिखता नहीं अपना यहाँ इसलिये सबको दुर किये जा रहे है।-
करवटे मौसम ने बदली कुछ हुआ क्या। कल भी तन्हा थे आज भी तन्हा हे कुछ हुआ क्या। धुंधली सी जिन्दगी के मंजर में कुछ बदला क्या। कल भी वही थे आज भी वही हे कुछ हुआ क्या।
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आजाद पंछी को पिजरे में बाध दिया ये भी सही हे।
जहाँ गलत नही थे वहाँ भी गलत मान लिया गया ये भी सही हे। डरना भी जरुरी हे इस जिन्दगी के मंजर में पर जहाँ डरना नही था वहाँ भी डर गया ये भी सही हे।-
उन्हे अपने गोरे रंग पर गुरुर हे अरे हम तो सावले हे श्री कृष्ण का हम पर नूर हे ।
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