झगड़ रही है फूलों से देखो कैसे कतरा रही है,
तेरी छुई हुई तितलियाँ देखो कैसे इतरा रही है।
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हासिल कर सब यहां, मुफ्त की ज़िद मत कर।
ये दुनिया है, दुनियावालों से उम्मीद मत कर।
तस्वीर रख यूं अपने यार की अपने संग,
मशरूफ रह यहां, उनकी दीद मत कर।-
कर करिश्मा ऐसा कोई, राह में उसके फूल गुलाब आए।
मदहोशी ऐसी हो उसकी, सोए तो मेरे ख्वाब आए।-
जिस देश में हिंदी के लिए दो दबाना पड़े,
उस देश मै हिंदी दिवस की शुभकामनाएं।-
आशा कहती विश्वास से, धीरज धरना सीख।
मांगे बिन मोती मिले, मांगे मिले ना भीख।-
फितूर ए इश्क में मेहबूब के सिवा कुछ सूझता ही नहीं।
और जिसके लिए हम फना हुए, वो हमे पूछता ही नहीं।-
माता तेरे दूध को, नहीं लगेगी आंच।
कर्ण रहे अर्जुन रहे, पुत्र सदा ही पांच।-
बेदेखे आराम नहीं है, देखे तो दिल का चैन गया।
देखने वाले यूं कहते है, भोली भाली आंखें है।
बे जिनके अंधेर है सब कुछ, ऐसी बात है इनमें क्या?
आंखें आंखें सब है बराबर कौन निराली आंखें है।
मुंह से पल्ला क्या सरकना, इस बादल में बिजली है।
दूर ही रहना पास ना जाना, ढाने वाली आंखें है।-
मेरा पानी उतरता देख
किनारे पर घर मत बना लेना
समंदर हूं
लौट कर जरूर आऊंगा
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