जान पहचान थी अपनी जिनसे ।
वक़्त बीता वो मुसाफ़िर हो गए।।
मोहब्बत पर चार शेर कह देने से ।
आप तो हमसे मुतासिर हो गए।।
महज ए'तिबार ने, क्या कर दिया ।
झूठ बोलने में, तुम माहिर हो गए ।।
तुम जिरह भी बनी, तुम ह्या भी थी ।
हुए मसरूफ़, के काफ़िर हो गए।।
लोग समझ रहे हैं, कमाल मेरा ।
सब लिखा तुम ने,हम शाइर हो गए।।
212 212 22 22-
Rarer than astatine....
ना यार मिरे, न ही इज़हार बनते हैं
औरों के लिए वो अब प्यार बनते हैं।
मेरी ही ग़ज़लों का असर है, जो वो
कातिल हुस्न से बरखुरदार बनते हैं।
सब फैसले महज इन हाथों तक हैं
कुछ बेशुमार,कुछ हथियार बनते हैं।
तीखी जुबां शामिल हो गर रिश्तों में
तो कश्मकश बेवजह खार बनते हैं।
निकले नहीं जो खुद के मसलों से
गैरों में रहकर, होशियार बनते हैं।
2212 2212 222-
आज खयालों ने फिर उसको बोया है
मेरे वजूद में कुछ तो खोया - खोया है
बिछड़े हैं फ़क़त फिजूल की नाराजगी पर
उसका दिल भी रोया है मेरा दिल भी रोया है-
न चंचल हैं न शांत हैं ,नयन तेरे उलझे प्रान्त हैं।
न हैं शिखर सी ये बड़ी, न है चमक हीरे जड़ी।
न बन्दगी, न फ़रयाद है,
फिर भी आंखें तेरी याद हैं। मुझे आंखे तेरी याद हैं।।
सब कुछ हूँ भूला रोम-रोम,चेहरे का नक़्श होठों के शोर
तेरी हर डगर,तेरी चाल को,जूड़े में सिमटे बाल को।
हर किस्सा मन से आज़ाद है,
बस आंखें तेरी याद हैं । मुझे आंखें तेरी याद हैं।।
उन आंखों से यूं लुट कर,मैं हूँ बिखरा टुट कर।
इस वैराग होते ज़हन में ,मेरे ज़िस्म में मेरे नयन में।
कुछ तो तेरा आबाद है ,
हाँ आंखे तेरी याद हैं, मुझे आंखे तेरी याद हैं।
मेरी धड़कनों की सौगात है,तुझे भूलने की बात है।
कितना मैं भूलूँ हर दफ़ा, मुझे इल्जाम दे मेरी वफ़ा।
ये दिल हुआ बर्बाद है,
रहती आँखें तेरी याद हैं,मुझे आँखे तेरी याद हैं।-
अहद-ओ-पैमाँ दफ़्न हो गए
दो दरियाओं की वादी में।
एक का समुंदर से मेल हो गया
एक रह गया आबादी में।-
इश्क़ के बहकावे में आकर हमने,
तुझको अश्क़ों में सजा के रखा है।
आँखे छलकी तो बहुत हैं , फिर भी
एक आंसू अभी भी छुपा के रखा है।-
वही सलाहियत होती रहती है रोज़
न कुछ ख़ास, न हम नया करते हैं
सादगी तो हमारी बस इतनी ही है
ख़ामोशी भी पन्ने पर बयां करते हैं-
इक अरसे की रहमत का
ख़ुदा ने कैसा प्यार दिया
एक ही चीज तो मांगी थी
उसको भी फ़क़त उधार दिया-
बहुत हुआ रुसवा।
ज़िन्दगी जीने का ज़रिया बना रहा हूँ।
चुल्लू भर में कहाँ डूबुंगा।
ग़फ़लत में नया दरिया बना रहा हूँ।
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