सबसे बुरी आदत है किसी इंसान को किसी इंसांन की आदत हो जाना
मुक़द्दर है परवाने का शमा में जलके फना हो जाना
जब जब आये मजनू इस दुनिया में
लाज़िम ह उसका इश्क़-इ-लैला में दीवाना हो जाना-
Jiyo!
Muskurao!
Kya Pata?
Kal Ho Naa Ho!
मन के मंदिर में बैठा के आ तेरी पूजा करूँ
तू मुझे देखा करे, मैं तुझे देखा करूँ
अगर बिछड़े तो, रख हाथ पे हाथ वादा करूँ
तू मुझे सोचा करे, मैं तुझे सोचा करूँ
दूरियाँ हो जब बेहिसाब तो, रोज़ एक ख़त
तू मुझे लिखा करे, मैं तुझे लिखा करूँ
जब पलकें हो नम, ज़िंदगी के किसी मोड़ पे
तू मुझे हँसाया करे, मैं तुझे हँसाया करूँ
अँधेरे की चादर जब छाई हो रात पे
चाँद की चाँदनी से चमकी हो हमारी आँखें
आँखों की गहराई में
तू मुझे खोजा करे, मैं तुझे खोजा करूँ
जब हो रात का आखिरी पहर
जब अगले पल ही होने वाली हो सेहर
रात और सुबह के दरमियाँ
तू मुझे चूमा करे, मैं तुझे चूमा करूँ
अलताफ अली-
खूब चूमा होगा उसने तेरे लबों को
माथा चूमना हर किसी के नसीब में न होगा
आबरू उतारी होगी उसने तेरी हर रात को
आबरू छुपाने वाला मुझसा हबीब न होगा
माना मीठी मीठी बातें करता है वो तुमसे
तुम जानती हो लेकिन मुझसा तहजीब न होगा
जो था तुम्हारे और मेरे बीच उसे वही रहने देते है
अधूरी मोहब्बत अगर पूरी हो जाये तो अजीब न होगा
दिल की स्लेट पर तेरा ही नाम लिखा था
जब तू ही न पढ़ सका
तो इस दुनिया में अल्ताफ जैसा बदनसीब न होगा
~अल्ताफ अली
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मनाते हैं ईद आसमां के चाँद को देख के
मेरे लिए तेरे माथे की बिंदी काफी है
@itsaltaf_-
Meri Geeta ka shlok tu hai
Meri Quran ki aayat tu hai
Koi namaz padta hai
Koi puja karta hai
Meri to ibadat tu hai
@itsaltaf_-
तू सावन की तेज़ बरसात हो
और मैं बूंदों सा बरसता रहूँ
तू दिवाली की अमावस रात हो
और मैं दिये सा जलता रहूँ
तू सर्दियों की ठंडी रात हो
और मैं पत्तों पर ओस से जमता रहूँ
तू होली के रंगो की सौगात हो
और मैं गुलाल सा गालों पे लगता रहूँ
तू बसंत का खिलता गुलाब हो
और मैं तेरी खुशबू में घुलता रहूँ
तू ईद के नमाज़ की मिठास हो
और मैं तुझसे ही गले लगता रहूँ
तू कोई खुली किताब हो
और मैं तुझे आँखों से पढ़ता रहूँ
तू पूरी की पूरी कायनात हो
और मैं तेरे ही घेरे में घूमता रहूँ
@Altaf Ali
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I want your nails on my bare chest
I want your marks on my soul
Take off the layer of every girl I have ever been with and mark me as your and only territory.-