मेरी मैया की ममता बहुत असीम
यह yq अधूरा है उनके बिन
कुछ तो टूट रहा है मानो आपका साथ छूट रहा है
एक खालीपन सा लग रहा है उनके बिन
ओ मेरी मैया आपकी मुस्कुराहट सुकून देती है
आपका खिलखिलाकर हंसना हर मर्ज की दवा हो जैसे
किंतने लोग है यहां पर मेरी मैया जैसा कोई दूजा न होगा
मेरी मैया के बिन जैसे ईश्वर की भक्ति भी अधूरी है ,,
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"एक लेखक् क्यों लिखता है ?
क्या वह स्वयं के लिए लिखता है
क्या वह खुद के अहसासों को जीता है
या फिर वह दूसरों के अहसासों को जिंदा रखता है
वह दूसरों के चेहरे पर मुस्कुराहट लाने के लिए लिखता है
वह अपने लफ्जों में हर किसी का दर्द बयां करता है
मानाकि लिखने से किसी के दर्द को कम नही कर सकतें
किंतु हम उनके दर्द को समझ तो सकतें है
हम उनके दर्द को बांट तो सकतें है
हम उन्हें कुछ चंद पलों की खुशी दे सकतें है
पढ़ने वालों से विशेष अनुरोध है
वह लेखन को समझें और जेहन में उतारें
लेकिन लिखने वाले कि मनोस्थिति को
एक लेखक ही समझ सकता है ,,
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मेरा घर संसार
" यदि मॉन सको तो मानों मेरी बात को
कठिन परिस्थितियां भी आएं आड़े
कितुं तुम जियो ओर जीने दो संसार को ,,
जितना ज्यादा बांट सको तुम बांटों अपने प्यार को
हँसो इस तरह की हँसें तुम्हारे साथ यह धूल भी,,
चलो इस तरह की कुचल न जाये कोई शूल भी
सुख न तुम्हारा सुख केवल ,इसमे जगत का भी भाग है
कोई नही पराया मेरा घर संसार है ,,,
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थोड़ा उलझी हुई हूँ
कुछ अजीब से दौर से गुजर रही हूं
ऐसा लगता है जैसे खुद को
इस दुनियां के बीच खो रही हूं
जिन रिश्तों को खुद बुना था मेने
उन्ही के बीच मे उलझ रही हूं
पर यह कोई नई बात तो नही
उलझी हूँ तो खुद सुलझ भी जाऊंगी
ए जिंदगी सुन जरा
मैं फिर से मुस्कुराउंगी ☺️
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रुस्तम
आये हो तो एक छोटा सा नजराना
लेकर जाइयेगा ☺️😇— % &,,सामने पहाड़ हो सिंह की दहाड़ हो
तुम निडर रहो डरो नही ,,तुम निडर डटो वहीं
वीर तुम बढ़े चलो! धीर तुम बढ़े चलो!— % &
प्रातः हो कि रात हो संग हो न साथ हो
सूर्य से बढ़े चलो चन्द्र से बढ़े चलो
वीर तुम बढ़े चलो! धीर तुम बढ़े चलो!— % & सच है, विपत्ति जब आती है,
कायर को ही दहलाती है,
सूरमा नहीं विचलित होते,
क्षण एक नहीं धीरज खोते,
विघ्नों को गले लगाते हैं,
काँटों में राह बनाते हैं — % &
है कौन विघ्न ऐसा जग में,
टिक सके आदमी के मग में?
ख़म ठोंक ठेलता है जब नर
पर्वत के जाते पाव उखड़,
मानव जब जोर लगाता है,
पत्थर पानी बन जाता है। — % &आज देखा कि तुम आये हो
मन किया लिखने को तुम्हारे लिए
तुमने मना किया था फिर भी लिख रही हूं
जानती हूं तुम delet कर दोगे — % &क्या चंद लोगो के कुछ कहने से तुम
चले जाओगे ?
कुछ तो लोग कहेंगे लोगो का काम
है कहना छोड़ो बेकार की बातों में
क्यों यह yq छोड़ना 🤗
— % &-
मृदुल सखा के लिए पेश करती हूं
कुछ चंद अल्फाज 🙏😇— % &मानाकि सारे दोस्त प्यारे नही होते
ओर कुछ तो हमारे होकर भी हमारे नही होते
मृदुल सखा से मिलकर यह महसूस हुआ
कौन कहता है जमीं पर सितारे नही होते ☺️👌🌠— % &दोस्ती से बड़ी इबादत क्या होगी
सखा हो जब मृदुल जैसा
भला जिंदगी से अब क्या शिकायत होगी 😍❣️— % &अच्छा सुनो सखा
तुम पर गुस्सा भी बहुत आता है जब तुम
रिप्लाई में मौन व्रत धारण कर लेते हो तब 🤣— % &एक बात और सुनिये सखा
जब मैया लाडले लाड़ले करती है
तब जलन बहुत होती है सखा
😡🙈— % &ओर सुनिये
दोस्ती गुनाह है तो होने न देना,,
दोस्ती खुदा है तो खोने न देना,,
करते हो दोस्ती जब किसी से तो कभी
उस दोस्त को क़भी रोने न देना 🤑— % &तुम्हारा सखी कहकर बुलाना
बहुत भाता है हमें
एक तसल्ली से हृदय को दे जाता है
यह शब्द ,,सखी ,,👌🤗— % &-
अब कुछ ही पल शेष है
एक ओर नया साल बदलने में,,
आप जैसे प्यारे अनमोल रिश्ते हमें
मिले जिन्हें पाकर हम धन्य हुए ☺️
आप लोग नए वर्ष में भी मेरा साथ
निभाएंगे न ,,,🙏🤗
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जिंदगी में अच्छे लोग सभी को मिलते हैं
हर किसी के दिल में कोई शख्स बैठा होता हैं
कुछ लोग अमिट छाप छोड़ जाते है
नसीब वाले होते हैं वो लोग
जिनके जीवन में आनंद जी जैसा मित्र होता हैं-