Aditya Chaurasia   (adii..™)
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Joined 15 February 2018


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Joined 15 February 2018
24 AUG AT 17:58

मोहब्बत का असल मतलब तो तब समझा,
जब उसके कदमों में मिट्टी बनने का मन किया।
वो चाहे तो पहने मुझे पायल जैसी,
और चाहे तो राखे सिरहाने, सोना कह के "पल्यादि"...
❤️
- आदि..™

-


16 AUG AT 18:09

हर दिन एक नए शहर में, नई उलझन के साथ,
नई शुरुआत करनी पड़ती है,
और उम्मीद और हिम्मत जवाब देते हुए...

हर सुबह एक नया शहर है, नई उलझन साथ लिए,
हिम्मत और उम्मीद ने भी अब, मौन सा है साध लिया।

टूटे हुए सपनों को फिर से, सीने से लगाना पड़ता है,
हर दिन एक नई उलझन को, अपना ठिकाना बनाना पड़ता है।

थक गई है रूह भी अब, भटकते-भटकते,
फिर भी चलना है, इसी आस में,
कि शायद कहीं, अपनी मंज़िल मिल जाए,
और ज़िंदगी की उलझनें, सुलझ जाएं।

मगर अब तो उम्मीद भी, कुछ कहने से डरती है,
और हिम्मत भी, अब जवाब देने से कतराती है।
😊
- आदि..™

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9 AUG AT 18:33

जो आज ग़लतियाँ दिखा रहे हैं,
कल वो ही साथ देने आएंगे,
हमें कोई शिकायत नहीं उनसे,
बस हम खुद को और बेहतर बनाएंगे।
😊
- आदि..™

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4 AUG AT 19:19

"खुद को पढ़ा ‘गुनाहों का देवता’ के पन्नों में,
हर लफ्ज़ में तू था, हर दर्द में अपनापन था।
जब तू दूर हुई, तो आवाज़ भी ना लौटी,
पर दिल ने कब माना — अब भी तुझसे ही लगाव था।
😊
- आदि..™

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2 AUG AT 8:36

मैं नहीं जानता कि क्या तुम्हारे जीवन में था,
एक धुंधली सी याद, एक अनकहा किस्सा था।
पर इतना जानता हूँ, वो मौन कितना सुंदर था,
तुम मेरे जीवन का एक शांत मधुर स्वर था।

तुमने कुछ नहीं कहा, पर मैंने सब सुना,
अनकही बातों का भी अपना ही रस गुना।
और शायद... इसी में छुपा है सच्चा प्यार का सार,
जहाँ शब्द मौन रहें, बोले बस अहसास अपार।

एक मीठी कसक है, उस बीते हुए पल की,
एक शांति भी है, उस अनमोल समझ की।
ना खोने का गम, ना पाने की पूरी खुशी,
बस एक एहसास है गहरा, जो आज भी है बसी।
🙂
- आदि..™

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1 AUG AT 7:54


तेरे प्रेम में कोई शर्त नहीं,
बस एक समर्पण है,
तेरी यादों से ही तो मेरे दिल का हर कोना रोशन है "पल्यादि"।
🧎
- आदि..™

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31 JUL AT 8:03

गुनगुनाहट दिल की, लफ़्ज़ों का जादू है,
पन्नों में सिमटी, एक नई दास्ताँ है।
पहला क़दम ही था, पर ऐसा असर कर गया,
कि रूह भी कह उठी, "ये तो मेरा जहाँ है!"
🙂
- आदि..™

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30 JUL AT 17:46

वो जो कहते थे
'तेरी मुश्किल में हम साथ खड़े हैं,'
आज गर पलट के देखो,
तो साया भी ना नज़र आएगा!
🙂
- आदि..™

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28 JUL AT 19:09

Chapter 4 :
त्रुटियाँ नहीं, तो प्यार कैसा?
( in caption)
- आदि..™

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27 JUL AT 9:48

ज़िद क्या करें अब किसी बेगाने के लिए,
जब उसको ही नहीं रहना मेरे आशियाने के लिए।
🙃
- आदि..™

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