जमाने मैं कैसी हवा चल रही
अपने ही अपनों का कर रहे कत्ल
रिश्तो की मानों धज्जियां उड़ी
कत्ल हो रही कली और तितली।
-आभा दवे-
3 DEC 2022 AT 14:13
जमाने मैं कैसी हवा चल रही
अपने ही अपनों का कर रहे कत्ल
रिश्तो की मानों धज्जियां उड़ी
कत्ल हो रही कली और तितली।
-आभा दवे-