साथ रहते है हम पर मुलाकात नही होती,
अब हमारे बीच वैसी बात नहीं होती...
आंखे बंद करते ही हो जाती है सुबह
कभी इंतजार रहता था अब वो रात नही होती...
दिल जज़्बात इंतजार इज़हार सब कुछ
नाम कर दिया उन्होंने किसी ओर के
मै कौन हु मै कौन थी
मेरी अब उन्हें पहचान नही होती...
कि मैं हु जिसकी क्या वो सिर्फ मेरा है.???
इससे ज्यादा दिल दुखाने वाली बात नही होती,
क्या ही कर लेगा कोई फिजूल कोशिशों का,
बर्बाद हो चुकी जिंदगी फिर आबाद नहीं होती।
-
लाज़मी है वो जिससे मुझे प्यार बहुत है।❤
कभी कभी लगता है की कितना अच्छा होता
ये जो हुआ अगर नही हुआ होता
या ये कुछ मुझे पता ना हुआ होता
हा वो धोखे में जीना सही था मेरा
काश इस धोखे का मुझे पता ना हुआ होता
मैं पागल थी तो पर मैं खुश थी
काश अब भी मेरा वही पागलपन होता
काश....
काश... वो मेरा भरम भरम ही बना होता
की वो मेरा है सिर्फ मेरा ही रहा होता।-
मैं अंधी नहीं हूं, मैं सब कुछ देखती हूं।
मैं देखती हूं...
...जब लोग मुझे अलग तरह से ट्रीट करते हैं।
...जब दूसरों को लगता है कि मैं इतनी मूर्ख हूं कि झूठ को समझ नहीं पाऊंगी।
...जब मैं योजना का हिस्सा नहीं होती।
...जब कुछ लोग मेरे प्रति अजीब व्यवहार करते हैं।
...जब मैं सिर्फ एक विकल्प होती हूं।
...जब मुझे किसी और के फायदे के लिए इस्तेमाल किया जाता है।
...जब दया का कोई और मतलब होता है।
...जब लोग साजिश करते हैं।
मैं सब कुछ देखती हूं।
तो मेरी चुप्पी को मूर्खता न समझें।
मैं इसके लिए बहुत सतर्क हूं।
मैं अंधी नहीं हूं, मैं सब कुछ देखती हूं।-
यहां हर जगह फरेब है,
कौन किसका है आज की दुनिया में
प्यार इश्क महोब्बत सब खेल है।-
Hoti hai kuch aurate jo aurat naam pr dhabba hoti hai,
Pati Hira Mila ho pr niyat dusre mardo k bishtr pr hoti hai,
Ujaad deti hai ye saf Dil aurto ka ghr, naa jaane kaise chain se soti hai,
Trupti nhi mil pati inhe ye jindagi bhr kisi mrd s khush nhi hoti hai.
1 ko dhoka deti hai dusre ki Nazar me devi hoti h.
Waah re aurat kya kmal ki chij hoti hai.
Bechari bni rehti hai apne pati k liye, dusre mardo k samne nangi hoti hai.
Kya hai ye kalyug ki aurat kya aurate asi hoti hai.????
Kotha to bewajah hi badnaam hai,
vaishya to madam bni aurato me chhupi hoti hai.
Vaishya naam bhi badnaam ho jaaye
kuch aurate to usse bhi kai jyada giri hoti hai.
Aur kya hi kahu mai asi aurato ke bare me...
Kisi ki baddua kaha beasar hoti hai, barbad ho hi haati h asi aurate 1 din, chahe wo kitni hi chalak kyu na hoti hai.
Yhi anjaam hota hai asi aurato ka,
Jinki niyat dusre mard k samne nangi hone ki hoti hai wo 1 din duniya k samne bhi nangi hoti hai.
Isi tarah asi aurato pr duniya thukti hai, mut-ti hai.
Jo bhgwan s dua h whi asi aurto k liye baddua h meri,
Chhin jaaye inse Inka ghr pariwar pati aulad sb. Dr Dr ki ho jaye ye or dua m maut mange apni.
Asi aurate isi layak hoti hai.-
यह जो कुछ भी मुझे मालूम हुआ
मानो जैसे तूफान आया हो
.?????
हा तूफान....
कहां आया.???
जिंदगी में....
फिर क्या हुआ.???
वही जो होता है....
सब कुछ तहस-नहस हो गया....
और अब क्या.???
अब.... बाकी ही क्या रहा,
बस जान नहीं गई बाकी कुछ नहीं बचा।
-
तो सवाल ये है की क्या मैं चुप रहूंगी.???
और अगर हा तो देखना ये है की कब तक.???-
कुछ परिस्थितियां ऐसी आ जाती है
जहा हम खुदको दूसरो से कंपेयर करने लगते है
दूसरे भी ऐसे जो वास्तव में
हमारे पैरो की धूल बराबर भी नहीं होते।-