जिसने भी हम दोनों को साथ देखा था
या देखा है....कभी
अब जब कोई साथी मिलता है...
तो....
सबसे पहले मेरे से
तेरे बारे में ही पूछता है...?
.
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हम भी कह देते हैं...
आमने - सामने
तो कोई बात नहीं होती...
मगर वैसे वो ठीक है।-
प्रकृति🌱
साहित्य📚
शिक्षक 🏑🥅⚽🥎🏀🎳🥍🏏🏓🏸🎾🏐
Author ✍️
✍️काव्य संग्रह📚
1. ब... read more
याद तुम्हारी आ रही
मुझको तन्हा तड़पा रही
आओ आकर लग जाओ गले
ये रात हसीन जगमगा रही।-
तुम अच्छे काम करते रहो
रोजाना थोड़ा - थोड़ा पढ़ते रहो
तुम एक दिन शिखर पर पहुंचो
जीवन में ईमानदारी से बढ़ते चलो।-
हम सीख रहे हर पल
जो समय रहा निकल।
हम और भी सीखते जायेंगे
अपनी जड़ें ज़मीं, बीज बोते जायेंगे।
जो मिलेगा राह में हमारी
हम उसको शिखर दिखाएंगे।
हर परिस्थिति से निकल हम
नव कमल खिलाते जायेंगे।
🌱🌱🌱🌱🌱🌱🌱🌱-
शासन प्रशासन सारे मिले हुए
इन सबके मुँह नोटों से सिले हुए
पीड़ित परेशान बेबस हर तरफ
मुजरिम के चेहरे हर तरफ खिले हुए।-
जाना कहां है
पाना क्या है अभी भी
मन मचले।
दिन ढलता
रात होती काली ये
रोजाना होता।
नया होता है
सोच समझकर
मन चंचल।
होगा जरूर
होता रहा है नया
मौसम नया।
पढ़ते कुछ
किताबें वो भी मन
मन का सही।
रोकें कितना
सफ़र में रहते
रुकते न कहीं।
सफ़र प्यारा दिल
जारी रहेगा ये भी
शुरू से अंत।-
हमें कभी भी डर के बारे में बात नहीं करनी चाहिए, लेकिन बातचीत से डरना भी नहीं चाहिए।
- जॉन एफ कैनडी-