बेमतलब का जोड़ा गया था हमे उनके साथ, चुबने लगी थी अब उनकी हर एक बात। जनाब, परवाह और शक में अंतर होता है, जब अपना विश्वास ना करे , तब दर्द होता है ।।— % &
प्यार तो बहुत था पर शायद विश्वास की कमी थी, नज़र तो उन्हे तलास्ती थी पर उनमें भी नमी थी, खोजने निकले थे पर खो गए इन सुनसान राहों में, मौका मिले तो मौत भी चुनेंगे उन्ही की बाहों में।।— % &
वो शाम याद आती है, उनकी याद बड़ा सताती है , हर लम्हा हम बिताया करते थे साथ, थामे एक दूजे का हाथ, अब छूट गए है सब रिश्ते पीछे, इस दुनिया के बोझ के नीचे, यादें ही कुछ अब रह गई है, दिल एक है पर गम कई है।।