हर बार तुम ही सही हो ऐसा जरूरी हो नहीं सकता, प्रेम में सब समर्पण कर दे ये संभव हो नहीं सकता, खैर ये तो प्रेम करने वाला ही जानता है... के इसमें डूबने के बाद कभी कोई पार हो नहीं सकता।।
मैं प्रेम तो करना जानती नहीं तुम सिखा दोगे क्या? दिल दुखाया हो तो तुम्हारा माफ मुझे कर दोगे क्या? मैं इस तेज दुनिया के साथ तेज नहीं चल पाती हूं, अगर कमजोर पड़ जाऊं कहीं तो संभाल लोगे क्या??