Aaditya Pandre   (Aaditya pandre)
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जिंदगी की राहों में सफलता की कुंजी है।
Joined 17 January 2021


जिंदगी की राहों में सफलता की कुंजी है।
Joined 17 January 2021
21 APR 2022 AT 23:38

ज़िन्दगी तू है,तो जिंदा हूं मैं।
सोचा तेरे लिए ही,तो चुनिंदा हूं मैं।।
तेरी चाहत ही तो है,जो खींच लाई मुझे।
जो तेरे परवान को चूम ले,वो परिंदा हूं मैं।।

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1 APR 2022 AT 7:01

तुम्हारी ज़रूरत है सनम,
इस कदर प्यार पाने के लिए।
तुम्हारी बेहद कदर है सनम,
आशिक़ को यूं तड़पाने के लिए।
अब क्या बताएं,जिंदगी के परवानगी का।
तुम चाहो तो इंशाल्लाह हम भी,
मर जाएंगे,तुम पर प्यार लुटाने के लिए।।

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11 MAR 2022 AT 7:31

तेरे जिस्म की हर,तन्हाइयां लिख रहा हूं।
तेरे चेहरे की हर,गहराइयां लिख रहा हूं।
यूं तो तेरे सौंदर्य को सुधारने का हुनर है, सनम मुझमें।
तभी तो तेरे हुस्न पर,रुबाइयां लिख रहा हूं।।

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27 FEB 2022 AT 21:23

तेरे रूह की खुशबू थी,मेरे जहन में।
क्यों कुछ कह रही हों क्या।
आज सितम से दूर जो कर दिया।
क्यों अब भी पास आ रही हो क्या।
ना चाहकर भी याद कर रहे गुजरी रातों को।
क्यों फिर से वो महफिल जगा रही हो क्या।
अब क्या करें इस भूत और आज की इस आशा का,
तोड़कर मेरा सपना,खूडसे रूठ सपना सजा रही हो क्या।
आजकल लग रहा किसी की जान का कोई मोल नहीं
हम जैसे इस आशिक को अपनी जान बना रही हो क्या।




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11 JAN 2022 AT 21:45

Kya sitam dha rahi ho
Uska gila nahi hai,
Jindagi ke uss mod par
Kya gul khila rahi ho
Uska gila hai .

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11 JAN 2022 AT 21:15

मां की हर ख्वाईसों को उड़ान देता है मामा।
भांजा-भांजी की हर खुशी को मुक्कमल करार देता है मामा।
अपनी जिंदगी छोड़,बहन के चेहरे में मुस्कान देता है मामा।
सारी जिंदगी निस्वार्थ भाव रख, बहन के बच्चों को स्नेह-लाड़ देता है मामा।
अपने बच्चों की भांति बहन के बच्चों को अधिकार करार देता है मामा।
तभी तो देखा जाता हैं ना
मां के बाद बच्चे के मुख का दूसरा नाम होता है मामा,,,

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6 JAN 2022 AT 0:02

सारी तजुर्बे की मुनासिब,टिकी है मुक्कदर पर,
आशियाना जरूर कुछ अलग होगा,,
चाहत होना हो फिर भी सनम!
इंशाल्लाह जो कुछ होगा गजब होगा।।

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19 DEC 2021 AT 18:24

अपनी जिंदगी न्योछावर कर दे उस काम के लिए,
वरना जानता है ना वो हश्र होगा तेरी जिंदगी का,,
जिसकी 'ख्वाइश और फरमाइश'
चाहकर भी कोई नही करना चाहता है।

क्या समझे !
Do mention in the comment section just because I must be want to know about your way to how to understand my feel and a thought

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31 OCT 2021 AT 22:18

मैं जानता हूं,तेरी चाहत से कुछ नहीं होगा।
और मैं मानता हूं,तेरी आदत से कुछ नहीं होगा।।
अरे अब तो तुझसे मिलने की चाह भी,पल-पल धँस रही है मुझमें।
फिर भी क्यों सोचता हूं,कुछ करे बिना कुछ नहीं होगा

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31 AUG 2021 AT 7:57

कुछ सीला जिंदगी का ऐसे जीते जाएंगे ,
जीते जिंदगी में हम तो, गहराई बढ़ाएंगे।
वरना,कहना आशिकी का ये सदा की आदत है,,
चलो छोड़ो इन सब बातों को आशिकी बढ़ाएंगे🤗।।

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