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18 JAN 2021 AT 1:29
नहीं जानती थी लड़ना, तुमसे सीखी हूं
नहीं बची थी हिम्मत, तुमसे हौसला पाया है
नहीं जानती थी ख़ुदको, तुमसे जाना है
खो चुकी थी ख़ुदको, तुमने रुबरु करवाया है!!
लोग कहते है, ढूंढने से ख़ुदा भी मिल जाता है
मेरे जान-ए-ग़ज़ल, मैने तुझमें वो ख़ुदा पाया है!!-