दिल-ओ-दिमाग़ में कोई और बात आती नहीं,
तुम ही तुम ख़यालों में रहते हो,
बता भी दो किसे रिश्वत देके,
इन पर कब्ज़ा जमाए बैठे हो-
19 JUL 2019 AT 8:11
25 FEB 2021 AT 5:55
वो रंजीदा हैं मुझसे, तकरार करने तो आयेंगे
मुहब्बत है गर वहम मेरा, इसे तोड़ने तो आयेंगे-