वो वक्त सी थी...
जो गुजर गई...
मैं यादों सा था...
जो ठहर गया...-
मेरी आशिकी में साहब...
एक वो दौर भी आया था...
जब उसने महज तस्वीर नहीं...
मेरा दिल भी जलाया था...-
दुआओं का सिलसिला...
जारी रखो साहब...
आज मेरी मोहब्बत का...
जनाजा निकलने वाला है...-
दरख्वास्त है, मुझपे एक एहसान और कर
रख दिल मेरा और अपने हाथों सेे इसे कहीं दफ्ऩ कर,
खामोश धड़कनें अब खंजर सी लगती है;
ये प्यार-दोस्ती की दासता अब हमेशा के लिए यहीं खत्म कर।
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😠truth of modern love😠
आशिकी में खुदकुशी....
समझती है सारी दुनिया जिसे...
असल में मेहबूबा के हाथों...
एक हसीं कत्लनामा है...
इस दौर में मोहब्बत एक...
फरेब से ज्यादा कुछ भी नहीं...
रुह की अब कहाँ, किसको पडी...
सबको तो अब बस जिस्मों को पाना है...-
दर्द दिया तुमने बिन मांँगे...
नींद-चैन लिया भी छीन...
ओ मेरी सजनी ये तो बता जा...
कैसे जिऊंगा मैं तेरे बिन...-
इश्क ने यह मेरा कैसा हाल कर दिया,
पत्थर से दिल को मोम बनाकर
आग के हवाले कर दिया !-
मत गुरुर कर अपनी खूबसूरती पर
हमने बाजारों में खूबसूरत चीजो की बोलियां लगते देखा है-
People who say 'Love hurts' are
lying. I personally experienced it's
beauty, felt it's purity, descended in
it's depth, countered it's innocence
& realized..
No, Love doesn't hurt. Actually,
It kills..-