कुछ शायर को हारा बताते हैं,
कुछ राह-चलता आशिक़ भी कह जाते हैं,
जब रिश्तों में चोट खाते हैं,
मर्ज की दवा, इसी गली ढूंढने आते हैं।।।-
26 APR 2020 AT 11:08
कुछ शायर को हारा बताते हैं,
कुछ राह-चलता आशिक़ भी कह जाते हैं,
जब रिश्तों में चोट खाते हैं,
मर्ज की दवा, इसी गली ढूंढने आते हैं।।।-