मेरी माँ की सादगी कुछ यूँ है,
कि वो प्रयत्न करे ना करे!
तस्वीर उसके होने पर,
खुद ही खिलखिलाने लगती है!-
मेरी ज़िन्दगी की हर जन्नत,
मेरी माँ की मन्नत है!
वर्ना मैंने तो इतनी कोई,
दुआएँ भी नहीं माँगी थी!-
Before Corona -
लग जा गले के फिर ये हसीं रात हो ना हो!
After Corona -
लग ना गले के फिर ये बची साँस हो ना हो!-
खुद को बड़ी गहराई से निहारती हूँ
आएनों में आजकल!
तेरे लिए खूबसूरत लगना,
इतना ज़रूरी सा बन गया है!-
यूँ तो मीठे में कुछ खास पसंद नहीं मुझको!
पर तेरी चाशनी सी मुस्कुराहट देख लूँ,
तो दिल मीठा-मीठा सा हो जाता है!-
तुझे ख़बर ना होगी
तेरे आने से मेरी ज़िन्दगी
में क्या बात बनी है!
बस यूँ जानले, कि हर
दिन अब नया सा है,
और हर रात मेरी, सौगात
बनी है!-
उनके नाम में भी एक
अजब सी मिठास है!
मामूली से कथन में आजाये
तो वाक्य ग़ज़ल हो जाए!-
ईद का त्यौहार, चाँद से है.
मगर मेरा तो चाँद ही मुझसे दूर है!
मैं कौनसी ईद मनाऊँ!?-
तुझसे दूर रहकर मिलने वाली
बेचैनी में भी एक अजब सा चैन है!
एहसास होता है कि
वाकई, इश्क़ हुआ है!-
जी तो अब तेरे साथ ही जाती है ज़िन्दगी!
बाकी समय तो बस वक़्त बिताते हैं!-