Satvinder Singh   (SUKH)
119 Followers · 8 Following

read more
Joined 7 January 2020


read more
Joined 7 January 2020
21 JUL 2023 AT 22:02

Main teri photo shareaam paa sakda ni asi sharman sangan wale aa
Mundi chad challa v de sakda ni asi kach diyan wangan wale aa
Tu bole jyada hasdi rahe SUKH likhdan bahla sad kurhe
Apan dono mile ik dooje nu mera good luck te tera bad kurhe

-


26 JUN 2023 AT 23:19

कभी हम यादों में
आहें भरते थे
मरने मराने की
क़समें लेते थे

वादे इरादों की लिखीं
जातीं थीं किताबें
सात जन्मों की चिल्ला कर
होतीं थीं मिसाल की बातें

धुआँ बन खामोश हुई फुस्स
दिलोजान लुटाने की आग
आसान नहीं ,ना निभा पाना
हर पल मुसीबतों में साथ ।

सिर्फ़ अपना नहीं
सोच माँगे सबका भला
कहना आसान ,अकेला कोई
कितनी दूर तक चला

-


26 JUN 2023 AT 23:13

.....

-


25 JAN 2022 AT 8:33

Mai roya hath bhi jode
Fir bhi tars na aaya unko
Aankhon mai aksh the meri
Jab koi dusra lene aaya unko
Bas ab jb bhi jau khuda ke dar par
Dukh na mile koi yahi khudaya unko

-


19 DEC 2021 AT 13:01

याद करने पे याद करता है ।
तेरी फुर्सत की क्या ज़रूरत हैं ।।

-


5 DEC 2021 AT 1:40

वो मेरे दिल का टुकड़ा था ,

मेरी ज़ात का हिस्सा था !!

वो मेरे दर्द की कहानी थी ,

मेरे प्यार का किस्सा था !!

-


10 SEP 2021 AT 9:22

हमने तो आज भी कोशिश करी थी बात करने की... पर ना जाने क्यों नाकाम रही...
हमने हर पल कोशिश करी तुझे अपना बनाने की.. पर ना जाने क्यों नाकाम रही...
हमने तो हर कोशिश करी तेरे संग दिन से रात करने की... पर ना जाने क्यों नाकाम रही...
हार के सारी कोशिशें की तुझे भूल जाने की... पर ना जाने क्यों वो भी नाकाम रही..

-


21 AUG 2021 AT 20:40

टूटी सी जिंदगी , ये बता
तू ख्वाब उनके क्यूं सजाती है
जो मंज़िल मेरी है ही नहीं
उन राहों पे क्यूं चलाती है
चुपचाप गुज़र रही थी अब तक,
दिल में हलचल अब क्यूं मचाती है
खुशियां गर जो देनी ही नहीं
झलक खुशियों की क्यूं दिखलाती है
इतनी बेरुखी किस काम की,
गम के इतने ज़हर क्यूं पिलाती है ।।

-


21 AUG 2021 AT 12:52

मैंने उदास होना क्या छोड़ा,
मेरी कलम मुझ से उदास हो बैठी है
मैंने हंसना क्या शुरू किया,
मेरी आंख आंसू खो बैठी है
और मुझ पर कुछ दिल तोड़ने का आरोप क्या लगा,
प्यार के मामले में मेरी किस्मत सो बैठी है
मैंने उदास होना क्या छोड़ा,
मेरी कलम मुझ से उदास हो बैठी है।।

-


17 AUG 2021 AT 22:51

बहुत कुछ लिख लिख कर मिटाया है मैंने,
ठीक ना होने पर भी,
अपना हाल ठीक बताया है मैंने,
बात बात पर अपने दिल को बहलाया है मैंने,
अपनी सोच में ही खोकर ना जाने कितनी रातों को
जाग जाग कर बिताया है मैंने,
कोई समझेगा नहीं,
ये हाल मेरा, बस इसी फ़िक्र में
सबसे सब कुछ छुपाया है मैंने।।

-


Fetching Satvinder Singh Quotes