Kanksha Gupta   (कांक्षा _की_आकांक्षाएँ)
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Joined 12 November 2016


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20 JAN 2022 AT 23:22

कि मुकम्मल हो जाए मुहब्बत
इसलिए भगवान से अर्ज़ी लगाई है
हर जन्म वो साथ रहे
इसलिए हर मंदिर में जोत जलाई है
कितना नादान है दिल ये मेरा
जो उम्मीद लगाए बैठा है
आखिर उसकी मुहब्बत भी कहाँ मुकम्मल हुई
जिसने खुद मुहब्बत बनाई है

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14 JAN 2017 AT 21:54

When you are stubborn enough to get what you want then even the dim LIGHT from the old lamp can lead you to the door of success

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9 JAN 2017 AT 9:11

Biological Age 19
Heart's Age 11
Mind's Age 30
Experience's Age 40
Aaahh....its simply Me....😍😍

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5 JAN 2017 AT 16:40

ज़िन्दगी बोहत हसीन थी
जो हम तुमसे टकराए
मगर वक्त को ये गवारा कहाँ था ?
उम्र भर हम अपनी ज़िन्दगी से भागते रहे
और आज जब जीने की वजह मिली है
तो ज़िन्दगी हमसे भाग रही है

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1 JAN 2017 AT 8:41

Become the student of Life
Learn from it at every point of Time
It has a lot to give
Consume as much as u can
When you are at the right track
Life will automatically show you the door to success

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31 DEC 2016 AT 20:32

यूँ तो तन्हां जी रहे थे
सुनी थी जिंदगी अधूरे थे सपने
ज़िन्दगी में फिर एक मोड़ आया
एक नया दोस्त (YourQuote)...संग अपने
बोहत सारे फ़रिश्ते लाया
पहले तो बोहत रुलाया 2016 ने
फिर जाते जाते उसने खूब हसाया....

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31 DEC 2016 AT 19:57

हमें तो यूँ ही उन्होंने सरे आम बदनाम कर रखा है
कि हमने खुद को किसी और के नाम कर रखा है
क्या जानें वो किन गलियों से गुज़रना पढता है हमें उनकी तालाश में
क्योंकि उन्होंने खुद को हमसे अंजान कर रखा है

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31 DEC 2016 AT 17:31


बचपन में बड़े होने की चाह में खेल खेला करते थे
आज बड़े हो गए हैं
तो ज़िन्दगी हमारे साथ ऐसे खेल...खेल रही है कि
आज फिर बच्चा बनने को जी चाहता है....

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28 DEC 2016 AT 13:56

एक वक्त था जब पल पल किसी से बात करने को तड़पते थे हम
एक वक्त था जब अपने दिल की बात किसी को बताने से डरते थे हम
एक वक्त था जब मेरी ज़िन्दगी की किताब धूल की चादर से घिरी हुई थी
और आज एक वक्त है जब मेरे लफ्ज़ इंद्रधनुष के रंगों के समान सबके दिलों को छु जाते हैं


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26 DEC 2016 AT 8:19

The chapters of life have no END until and unless you tear them off from the BOOK of LIFE

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