तुम्हारे शब्दो का वार रोज़ इस दिल पर लगता है!न जान फिर भी ये कमबक्त तुम्से ही प्यार क्यो करता है? -
तुम्हारे शब्दो का वार रोज़ इस दिल पर लगता है!न जान फिर भी ये कमबक्त तुम्से ही प्यार क्यो करता है?
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