अब ये जो जीद्द् है ना तेरी यादों की ...ज़रा कहो इन्हे सलीखे मै रहा करे ...यूँ कभी भी आजाना और चुपचाप कर जाना ...कल की ही बात लेलो यूँ मायूस कर दिया था इन्होने...जरा samjhao इन्हे ....जैसे तुमने उस रोज़ मुझे समझाय था .... -
अब ये जो जीद्द् है ना तेरी यादों की ...ज़रा कहो इन्हे सलीखे मै रहा करे ...यूँ कभी भी आजाना और चुपचाप कर जाना ...कल की ही बात लेलो यूँ मायूस कर दिया था इन्होने...जरा samjhao इन्हे ....जैसे तुमने उस रोज़ मुझे समझाय था ....
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