जब सूरज चढ़ कर उतरेगा, जब चँदा फिर चढ़ जाएगा,
रात घनेरी होगी जब सारा जग सो जाएगा,
ख़्वाबों की दुनियाँ में जब पुनः मिलन कर जाएंगे,
कुछ प्यार के किस्से गढ़ना तुम,
कुछ रीत नई लिख जाएंगे हम,
जब सारी कलियाँ सूखेगी, जब सारी दुनियाँ रूठेगी,
जब मिलन असंभव होगा फिर, बन के घटा छा जाएंगे हम,
नभ में प्रीत लिखेंगें हम, इश्क है जीत लिखेंगे हम,
जब बढ़ने लगेगा आना जाना, जब जग देगा फिर से ताना,
धरती अम्बर एक करेंगे चुप चुपके भेंट करेंगे,
शिलालेख लिख जाएंगे, हम शिलालेख बन जाएंगे!
एक नई प्रीत कह जाएंगे हम, यादें अमर कर जाएंगे हम!
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